आउटसोर्सिंग में भारत अब भी बेस्ट
७ फ़रवरी २०११![](https://static.dw.com/image/3633869_800.webp)
केयर्नीज ने ग्लोबल सर्विसेज लोकेशन इंडेक्स (जीएसएलआई) जारी किया है जिसमें पहली तीन जगहों पर तीन एशियाई मुल्क काबिज हैं. भारत, चीन और मलेशिया को आउटसोर्सिंग के लिए सबसे अच्छी जगह करार दिया गया है. ये तीनों देश 2003 से इन तीन स्थानों पर जमे हुए हैं. केयर्नीज के मुताबिक, "इसकी वजह है कि यहां बड़ी संख्या में प्रतिभाएं उपलब्ध हैं और खर्च भी कम होता है." केयर्नीज उन 10 कंपनियों में शामिल है, जहां काम करना दुनिया में सबसे अच्छा माना जाता है.
केयर्नीज ने कहा, "भारत ने इस बारे में सबको पीछे छोड़ दिया है. वह आउटसोर्सिंग के किसी भी तरह के काम के लिए लोग उपलब्ध करा सकता है. शुरुआत करने का फायदा भी उसके साथ है. इसीलिए उसने आईटी मार्केट के सबसे बड़े हिस्से पर कब्जा किया हुआ है."
रिपोर्ट कहती है कि भारत ने आउटसोर्सिंग इंडस्ट्री के हर पहलू में खुद को मुकाबले के काबिल साबित किया है. अपनी उम्दा शिक्षण संस्थाओं की वजह से वह आईटी इंडस्ट्री में शानदार काम कर रहा है. वहां बड़ी तादाद में दक्ष स्नातक तैयार हो रहे हैं इसलिए बीपीओ इंडस्ट्री पर उसका राज है. और वहां के लोग अंग्रेजी जानते हैं इसलिए वॉयस इंडस्ट्री में भी उसे फायदा है.
जीएसएलआई के मुताबिक, "भारत चीन से आधा प्वाइंट ज्यादा यानी इंडेक्स में 97 पर है. मलेशिया से वह पूरा एक प्वाइंट आगे है और इंडस्ट्री का लीडर बना हुआ है." रिपोर्ट कहती है कि विप्रो और इन्फोसिस जैसी कंपनियां न सिर्फ रिसर्च और डिवेलपमेंट पर ध्यान दे रही हैं बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर फैलाव भी कर रही हैं.
जीएसएलआई की लिस्ट में टॉप 10 में एशियाई मुल्कों का ही कब्जा है. इंडोनेशिया (5), थाईलैंड (7), वियतनाम (8) और फिलीपींस भी आउटसोर्सिंग की दौड़ में बाकियों से आगे हैं.
रिपोर्टः एजेंसियां/वी कुमार
संपादनः ए कुमार