ईरान के साथ परमाणु समझौते की समीक्षा करेगा अमेरिका
२० अप्रैल २०१७
ट्रंप प्रशासन ने घोषणा की है कि वह न सिर्फ ईरान के साथ परमाणु समझौते पर गौर करेगा बल्कि ईरान की ओर से पैदा होने वाले सभी संभावित खतरों का भी जायजा लेगा. विदेश मंत्री रैक्स टिलरसन ने ईरान पर उकसाने के आरोप लगाये हैं.
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टिलरसन ने कहा कि अमेरिका ईरान के उन भड़काऊ कदमों की जांच करेगा जिनका उद्देश्य मध्यपूर्व को अस्थिर करना और इस क्षेत्र में अमेरिकी हितों को प्रभावित करना है. उन्होंने साफ किया कि जिन प्रमुख नीतियों को समीक्षा के दायरे में रखा गया है उनमें ईरान और विश्व की अन्य शक्तियों के बीच साल 2015 का परमाणु समझौता भी है. इस समझौते में ईरान के अलावा संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के पांच स्थायी सदस्य, जर्मनी और यूरोपीय संघ भी शामिल थे. ओबामा प्रशासन के कार्यकाल में हुये इस समझौते के तहत ईरान ने अपने ऊपर लगे प्रतिबंधों में राहत के बदले अपने परमाणु कार्यक्रम को सीमित करने पर सहमति जताई थी.
ईरान ने खोला रॉकेटों का खजाना
लंबे विवाद के बाद ईरान की संसद और अभिभावक परिषद ने ऐतिहासिक परमाणु संधि का अनुमोदन कर दिया है तो दूसरी ओर उसने सुरंगों में छुपे मध्यम दूरी के मिसाइलों का प्रदर्शन. ईरान का कहना है कि सारे रॉकेट तैनाती के लिए तैयार हैं.
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ईरान ने पहली बार जमीन के 500 मीटर नीचे बने बंकर में जमा अपने मिसाइलों और नेशनल रिवोल्यूशनरी गार्ड की टुकड़ी को दिखाया है.
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ईरान के रिवोल्यूशन गार्ड के जनरल अमीर अली हाजीसादे ने सुरंग में रॉकेट दिखाते हुए कहा है कि देश भर में सैकड़ों ऐसे अड्डे हैं. ये रॉकेट 1,700 किलोमीटर से 2,000 किलोमीटर की दूरी तक मार कर सकते हैं.
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ईरान ने पिछले हफ्ते एक नए रॉकेट का सफल परीक्षण किया था जो 'शहाब 3' का उत्तराधिकारी मॉडल है. 'एमाद' प्रकार का जमीन से जमीन पर मार करने वाला रॉकेट पिछले रॉकेटों के मुकाबले ज्यादा सटीक है.
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हथियारों की क्वालिटी और उसके परीक्षण के बारे में ईरान में स्वतंत्र रूप से जानकारी की पुष्टि करना संभव नहीं है. ईरान में होने वाले सारे टेस्ट तटस्थ पर्यवेक्षकों के बिना किए जाते हैं और बाद में उसकी जानकारी दी जाती है.
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ईरान ने अपने हथियारों का प्रदर्शन ऐसे दिन किया जब ईरानी सैनिकों को सीरिया भेजने की खबर आई. प्रमुख ईरानी सांसद अलादीन बुरूजर्दी ने कहा है कि अगर सीरिया आग्रह करे तो ईरान अपने सैनिक भेजने को तैयार है.
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पश्चिमी देशों में चिंता रही है कि ईरान शहाब 3 रॉकेट से इस्राएल पर हमला कर सकता है. इस साल जुलाई में हुई परमाणु संधि के बाद इस तरह की चिंता कम हुई है.
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अभिभावक परिषद द्वारा परमाणु समझौते का अनुमोदन. धार्मिक नेताओं और न्यायविदों वाला अनुदारवादी अभिभावक परिषद संसद द्वारा पास कानून की संवैधानिकता और इस्लाम से अनुकूलता की जांच करता है.
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टिलरसन ने वॉशिंगटन में मीडिया से बातचीत के दौरान इस समझौते को विफल बताया और कहा कि राष्ट्रपति ट्रंप ने इसकी समीक्षा के आदेश दिये हैं ताकि यह समझा जा सके कि क्या प्रतिबंधों को हटाना अमेरिकी राष्ट्रीय हितों के लिये अहम है.
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उन्होंने कहा कि यह समझौता गैर-परमाणु ईरान के उद्देश्य को प्राप्त करने में नाकाम रहा है. टिलरसन के मुताबिक "यह समझौता अतीत की उसी विफलता को दिखाता है जिसके चलते आज हम उत्तर कोरिया के खतरे का सामना कर रहे हैं".
राष्ट्रपति चुनाव अभियान के दौरान ट्रंप ने ईरान के साथ हुये इस परमाणु समझौते को सबसे खराब सौदा करार दिया था. वहीं ईरान के क्षेत्रीय प्रतिद्वंदी इस्राएल और सऊदी अरब ने भी इस समझौते की निंदा की है क्योंकि यह समझौता ईरान को अपने परमाणु कार्यक्रम को बंद करने के लिये बाध्य नहीं करता.