कांग्रेस ने विकीलीक्स के खुलासे को खारिज किया
१६ मार्च २०११कांग्रेस के प्रवक्त अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा कि अगर राष्ट्रीय राजनीतिक पार्टियां या फिर पूरा देश विकीलीक्स जैसे तत्वों की ओर से जारी की जाने वाली सनसनीखेज सामग्री पर प्रतिक्रिया देने लग जाए तो इससे देश के लोकतंत्र और इसकी स्थिरता की गरिमा कम होगी. उन्होंने कहा, "यह सब सनसनी फैलाने वाले तत्व हैं और इससे भी ज्यादा बकवास हैं. यह किसी व्यक्ति की अपनी राय हो सकती है जिसे आधिकारिक नहीं कहा जा सकता. इसकी सत्यता पर विश्वास करने का सवाल ही नहीं उठता."
वहीं विपक्षी बीजेपी ने विकीलीक्स की तरफ से जारी इस अमेरिकी गोपनीय संदेश को बेहद गंभीर बताया है कि 2006 में कैबिनेट का फेरबदल अमेरिकी झुकाव का नतीजा था. पार्टी ने सरकार से इस बारे में सफाई मांगी है. बीजेपी नेता वैंकेया नायडू ने कहा कि अमेरिकी दूत से इस बारे में सफाई मांगी जानी चाहिए. अगर जरूरत पड़े तो भारत सरकार को अमेरिकी सरकार से इस बारे में अपना विरोध भी दर्ज कराना चाहिए.
मंगलवार को यह मुद्दा राज्यसभा में भी उठा. सीपीआई, बीजेपी और शिवसेना के सांसदों के समर्थन से सीपीएम सांसदों ने सरकार पर वार किया. उन्होंने भारत में अमेरिकी राजदूत डेविस सी मलफर्ड का हवाला देते हुए कहा कि कैबिनेट के फेरबदल में अमेरिकी झुकाव से इनकार नहीं किया जा सकता. उन्होंने कहा कि मलफर्ड ने पेट्रोलियम मंत्रालय में बदलाव को अमेरिका और भारत के रिश्तों के आगे ले जाने के लिए अहम बताया.
विकीलीक्स की रिपोर्ट के मुताबिक अमेरिका मणिशंकर अय्यर को झगड़ालू और ईरान से आने वाली पाइपलाइन के हिमायती के तौर पर देखता था. इसीलिए उनकी जगह अमेरिका समर्थक मुरली देवड़ा को लाया गया.
रिपोर्टः एजेंसियां/ए कुमार
संपादनः वी कुमार