1. कंटेंट पर जाएं
  2. मेन्यू पर जाएं
  3. डीडब्ल्यू की अन्य साइट देखें

गूगल ने भारत में आपत्तिजनक चीजें हटाईं

१ मार्च २०१२

दुनिया की सबसे बड़ी इंटरनेट कंपनी गूगल ने भारत में सभी आपत्तिजनक चीजों को हटा लिया है. गूगल ने दिल्ली में एक अदालत से कहा कि वह अपनी जिम्मेदारी को समझता है. गूगल और फेसबुक सहित कई इंटरनेट कंपनियां अदालती चक्कर में हैं.

तस्वीर: picture-alliance/dpa

सिविल जज प्रवीण सिंह की अदालत में गूगल ने एक लिखित बयान में इस बात से इनकार किया कि उसने भारतीय संस्कृति को कभी भी गलत तरीके से पेश किया हो. कंपनी ने कहा कि सर्विस प्रोवाइडर के तौर पर वह अपनी जिम्मेदारी को समझता है और उसे इस बात की समझ है कि सभी पार्टियों के हितों की सुरक्षा होनी चाहिए.

अमेरिकी कंपनी गूगल ने कहा कि उसकी भारतीय इकाई गूगल इंडिया ने आपत्तिजनक चीजों के बारे में उसे जानकारी दी, जिसके बाद उन्हें पोस्ट हे हटा लिया गया. उसने कहा कि अब उसने ऐसा संतुलन बना दिया है कि सरकारी नीतियों को कोई धक्का न पहुंचे और साथ ही बोलने की आजादी भी सुरक्षित हो सके.

गूगल ने केस को खारिज करने की मांग करते हुए कहा कि सूचना तकनीक कानून के तहत किसी भी वेसबाइट पर तीसरी पार्टी के पोस्ट की वजह से उस कंपनी पर मुकदमा नहीं किया जा सकता है. गूगल के अलावा यूट्यूब और ऑर्कुट ने भी लिखित बयान अदालत को सौंप दिया है. ये दोनों कंपनियां गूगल की ही हैं.

इससे पहले फेसबुक और याहू इंडिया और माइक्रोसॉफ्ट ने अदालत में कहा कि चूंकि उनके खिलाफ कोई मामला बनता ही नहीं है, इसलिए उन पर केस बनता ही नहीं है. अदालत ने पिछले साल 20 दिसंबर को 22 इंटरनेट कंपनियों को आदेश दिया था कि वे अपनी साइट पर से आपत्तिजनक चीजें हटाएं. अदालत ने इन कंपनियों को यह भी कहा कि वे तस्वीरें, वीडियो और दूसरी सामग्री हटाने के बाद वे अपनी रिपोर्ट तैयार करके पेश करें.

इसके बाद इन कंपनियों के लिए छह फरवरी की समयसीमा भी तय कर दी गई. इससे पहले भारत के टेलीकॉम मंत्री कपिल सिब्बल ने भी इन कंपनियों से मुलाकात की थी और कहा था कि उन्हें आपत्तिजनक चीजें हटानी चाहिए. हाल के दिनों में फेसबुक और इस तरह की सोशल नेटवर्किंग साइट्स पर आम लोगों की पोस्ट की गई सामग्री को लेकर खासा विवाद हुआ है. भारत सरकार का कहना है कि यह भड़काऊ है.

फेसबुक और गूगल के अलावा जिन वेबसाइटों को ये सामग्री हटाने को कहा गया, उनमें ब्लॉगस्पॉट, जॉम्बी, बोर्डरीडर, आईएमसी, माई लॉट और शाइनी ब्लॉग भी शामिल हैं.

रिपोर्टः एजेंसियां/ए जमाल

संपादनः एन रंजन

इस विषय पर और जानकारी को स्किप करें
डीडब्ल्यू की टॉप स्टोरी को स्किप करें

डीडब्ल्यू की टॉप स्टोरी

डीडब्ल्यू की और रिपोर्टें को स्किप करें

डीडब्ल्यू की और रिपोर्टें