पाकिस्तान में फेसबुक पर पाबंदी
२० मई २०१०लाहौर हाई कोर्ट ने इस बात का आदेश जारी किया है. दुनिया भर में बेहद लोकप्रिय हो चुकी और गूगल के बाद दुनिया की सबसे मशहूर वेबसाइट फेसबुक डॉट कॉम पर 20 मई को इस्लाम के पैगम्बर से जुड़ी एक विवादित कार्टून प्रतियोगिता की अपील की गई है, जिसका दुनिया भर में विरोध हो रहा है.
पाकिस्तान में फेसबुक के खिलाफ याचिका दायर करने वाले अजहर सिद्दीकी ने बताया, "अदालत ने सरकार को निर्देश दिया है कि वह फेसबुक पर फौरन रोक लगा दे. इस्लाम धर्म की मान्यताओं के खिलाफ प्रतियोगिता कराने की वजह से पाकिस्तान में फेसबुक पर 31 मई तक रोक लगी रहेगी."
सिद्दीकी ने बताया कि अदालत ने विदेश मंत्रालय से इस बात की जांच करने को कहा है कि आखिर इस तरह की कार्टून प्रतियोगिता क्यों कराई जा रही है. पाकिस्तान टेलीकम्युनिकेशन अथॉरिटी के अधिकारियों का कहना है कि पाकिस्तान सरकार ने पहले ही इंटरनेट कंपनियों को हिदायत दे रखी है कि वे इन कार्टूनों को दिखाने वाली वेबसाइटों को ब्लॉक कर दें. हालांकि अभी उन्हें अदालत का फैसला नहीं मिला है.
हालांकि पाकिस्तान में कुछ लोगों का कहना है कि फेसबुक पर रोक लगाने से इसका उल्टा असर हो सकता है. टेलीफोन कंपनी नयाटेल के सीईओ वहाज उस सिराज ने कहा, "पूरी वेबसाइट को ब्लॉक करने से इसके यूजर गुस्सा हो सकते हैं. यह युवाओं में काफी लोकप्रिय वेबसाइट है और वे अपने दिन का बहुत बड़ा हिस्सा इस साइट पर गुजारते हैं."
सिराज का कहना है कि दरअसल पाकिस्तान के जज तकनीकी रूप से बहुत जानकार नहीं हैं. यह काम बेहतर ढंग से किसी एक यूआरएल या एक लिंक को ब्लॉक करके किया जा सकता था.
फेसबुक पर इस कार्टून प्रतियोगिता के इंफॉर्मेशन पेज पर आयोजकों ने कहा है कि वे मुसलमानों की भावनाओं को आहत नहीं करना चाहते. "लेकिन हम चरमपंथियों को दिखाना चाहते हैं कि हम उनकी धमकियों के आगे घुटने नहीं टेक सकते हैं."
डेनमार्क के एक कार्टूनिस्ट ने 2005 में इस्लाम धर्म से जुड़े विवादित कार्टून बनाए थे, जिसके बाद से पूरी दुनिया में हंगामा हुआ था. कई जगह हिंसक प्रदर्शन हुए और 50 से ज्यादा लोगों की जान चली गई. उस कार्टूनिस्ट को कई बार जान से मारने की कोशिश की गई है. पाकिस्तान में 2008 में डेनमार्क के दूतावास पर आतंकवादी हमला हुआ, जिसमें छह लोग मारे गए. अल कायदा ने उस हमले की जिम्मेदारी लेते हुए कहा था कि डेनमार्क के कार्टूनिस्ट ने जो कार्टून बनाए थे, यह हमला उसका बदला लेने के लिए किया गया.
सोशल नेटवर्किंग साइट फेसबुक पिछले कुछ सालों में बेहद लोकप्रिय हुआ है और इसने याहू और एमएसएन जैसी वेबसाइटों को पीछे धकेलते हुए दूसरे नंबर पर जगह बना ली है. लेकिन बीच बीच में यह कई बड़े विवादों में भी घिरा है. पाकिस्तान के अलावा कई और मुस्लिम देश फेसबुक पर रोक लगाने का विचार कर रहे हैं.
रिपोर्टः रॉयटर्स/ए जमाल
संपादनः महेश झा