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फोन्सेका को तीन साल की सजा

१७ सितम्बर २०१०

श्रीलंका में पूर्व सेना प्रमुख सरथ फोन्सेका को तीन साल की सजा सुनाई गई है. कोर्ट मार्शल के दौरान उन्हें भ्रष्टाचार का दोषी पाया गया. फोन्सेका ने अपने खिलाफ मुकदमे को राजनीति से प्रेरित बताया है.

सरथ फोन्सेकातस्वीर: picture alliance/dpa

एक सैन्य अधिकारी ने बताया कि फोन्सेका ने अपने दामाद की हथियार कंपनी को फायदा पहुंचाया. इसके लिए उन्हें तीन साल की सजा सुनाई गई है. पिछले महीने ही एक अदालत ने फोन्सेका को वर्दी में रहते हुए राजनीति करने का दोषी पाया जिसके बाद उनके रैंक और पेंशन छीन ली गई.

59 वर्षीय फोन्सेका ने तमिल विद्रोहियों के खिलाफ जीत में सेना का नेतृत्व किया. तीन दशकों तक चले गृह युद्ध के बाद पिछले साल ही सेना ने लिट्टे का सफाया कर दिया. इस जीत का सेहरा जहां राष्ट्रपति महिंदा राजपक्षे ने अपने सिर बांधा, वहीं इसे चुनौती देते हुए फोन्सेका राष्ट्रपति चुनाव में कूद पड़े. हालांकि उन्हें हार का सामना करना पडा. चुनाव नतीजे आने के बाद ही उन्हें गिरफ्तार कर दिया गया. तब से ही उन्हें हिरासत में रखा गया है.

अपने कोर्ट मार्शल के दौरान फोन्सेका ने कहा, "राष्ट्रपति राजपक्षे ने बिना वजह कोर्ट मार्शल का आदेश दिया. वह मुझे जेल में डालना चाहते हैं और मेरा रानजीतिक करियर खत्म करना चाहते हैं." फोन्सेका ने साफ किया कि उन्हें सरकारी ट्राइब्यूनल में विश्वास नहीं है. वह कहते हैं, "मुझे पता है कि इस कोर्ट मार्शल में मुझे इंसाफ नहीं मिलेगा, भले कितने भी सबूत पेश कर लिए जाएं. मुझे दोषी करार दिया जाएगा और जेल भेजा जाएगा. इस देश के लोग सबसे अच्छे जज हैं. उन्हें पता है कि मैंने कई बार अपनी जान जोखिम में डालते हुए इस देश के लिए क्या किया है." 2006 में तमिल विद्रोहियों ने फोन्सेका पर जानलेवा हमला किया जिसमें वह बाल बाल बचे.

फोन्सेका के खिलाफ नागरिक अदालतों में भी तीन केस चल रहे हैं जिनमें सरकार के खिलाफ षडयंत्र रचने का मामला भी शामिल है.

रिपोर्टः एजेंसियां/ए कुमार

संपादनः ओ सिंह

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