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बर्नी का आरोपों से इनकार

२४ अप्रैल २०१४

भारी भरकम वित्तीय मुकदमे में आरोपी फॉर्मूला वन के महामहिम बर्नी एक्लेस्टन ने रिश्वत देते के आरोपों से इनकार किया है. म्यूनिख की एक अदालत में उनके खिलाफ केस शुरू हो गया है.

तस्वीर: Reuters

अगर इस मामले में वह दोषी पाए जाते हैं, तो उन्हें सालों की जेल हो सकती है और पैसों के खेल फॉर्मूला वन पर उनकी पकड़ ढीली पड़ सकती है. उन्होंने अदालत से कहा है कि एक बैंकर ने उनके साथ ब्लैकमेल किया, जो साढ़े चार करोड़ डॉलर लेने की बात करता है.

उनके वकीलों ने जर्मन भाषा में जो बयान पढ़ा, वह करीब साढ़े चार घंटे तक चला. एक्लेस्टन ने कहा कि वह इस बात के लिए शुक्रगुजार हैं कि उन्हें अपनी बात कहने का मौका दिया गया. हालांकि उन्होंने यह भी साफ कर दिया कि वह खुद म्यूनिख के जजों के सवालों के जवाब नहीं देंगे. अलबत्ता यह काम वह अपने वकीलों के जरिए करेंगे.

83 साल के एक्लेस्टन पर रिश्वतखोरी और भरोसा तोड़ने के आरोप हैं. अगर ये मामले साबित हो जाते हैं, तो उन्हें 10 साल तक की सजा हो सकती है. इनमें बैंकर गेरहार्ड ग्रिबकोव्स्की को 4.4 करोड़ डॉलर देने का मामला भी शामिल है, जो रिश्वतखोरी के इलजाम में साढ़े आठ साल की सजा काट रहा है.

अदालती कार्यवाही में बर्नी एक्लेस्टनतस्वीर: Getty Images

गहरे नीले रंग का सूट पहने अदालत में आए एक्लेस्टन को उनका एक सहयोगी अदालती कार्यवाही का तर्जुमा बताता रहा. जर्मन अदालतों में जर्मन भाषा में कार्यवाही होती है, जबकि एक्लेस्टन ब्रिटेन के हैं. सरकारी वकीलों का कहना है कि यह पैसे बैंकर को इसलिए दिए गए ताकि फॉर्मूला वन में म्यूनिख के एक बैंक बायर्न एलबी के शेयर एक्लेस्टन के पसंदीदा खरीदार को बेचे जाएं. ग्रिबकोव्स्की पर आरोप है कि उसने 2005 में ये शेयर बेचे. उसे 2011 में सजा मिली और उस वक्त एक्लेस्टन को भी गवाह के तौर पर पेश किया गया था. एक्लेस्टन के मामले में भी ग्रिबकोव्स्की की गवाही अहम होगी. यह मुकदमा 16 सितंबर तक चलेगा.

रक्षा पक्ष के वकील ने साफ कर दिया है कि वे ग्रिबकोव्स्की की विश्वसनीयता पर जरूर सवाल उठाएंगे और फॉर्मूला वन के बॉस भी कह चुके हैं कि पूर्व बैंकर सच नहीं कह रहा है. गुरुवार को सुनवाई के दौरान एक्लेस्टन ने अदालत को कहा कि उन्होंने बैंकर को पैसे इसलिए दिए क्योंकि वह उन्हें ब्लैकमेल कर रहा था और धमकी दे रहा था कि उनसे जुड़े कुछ मामले सार्वजनिक कर देगा.

एक्लेस्टन का कहना है कि ग्रिबकोव्स्की धमकी दे रहा था कि वह उन्हें एक ट्रस्ट फंड का मालिक बता देगा, जिसमें उनकी पत्नी और बच्चों को भी शामिल बताया जाएगा. इसकी वजह से ब्रिटेन में उन्हें बहुत बड़ी रकम टैक्स के तौर पर चुकानी होगी. एक्लेस्टन ने कहा, "आज देखा जाए, तो बैंकर को पैसा देना सही फैसला नहीं था." लेकिन, "उस वक्त मुझे लग रहा था कि मेरी पूरी जिंदगी का काम दांव पर लगा है क्योंकि वह उस रकम को अदा नहीं कर पाते."

एजेए/एमजे (एपी)

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