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बाघ को बचाने के लिए स्पेशल फोर्स

२६ जुलाई २००९

भारत सरकार का कहना है कि बाघों को बचाने के लिए 13 टाइगर रिज़र्व में स्पेशल फोर्स तैनात की जाएगी. पर्यावरण राज्यमंत्री जयराम रमेश के मुताबिक ये स्पेशल फोर्स ख़ास तौर पर संवेदनशील टाइगर रिज़र्वों के लिए बनाई जाएगी.

16 टाइगर रिज़र्व संवेदनशीलतस्वीर: AP

भारत के राष्ट्रीय पशु बाघ के बारे में शनिवार को जयराम रमेश ने कहा कि देश के 37 में 16 टाइगर रिज़र्वों पर तुरंत ध्यान देने की ज़रूरत है और सरकार ऐसा कर रही है. पर्यावरण राज्य मंत्री ने कहा कि इन्हीं में से 13 रिज़र्वों की हालत देखकर यह तय किया गया है कि इनके लिए स्पेशल फोर्स बनाई जाएगी.

उजड़ गए दो टाइगर रिज़र्वतस्वीर: picture alliance/dpa

भारत में बाघों की देखरेख के लिए अपनाई जा रही तकनीक का ज़िक्र करते हुए जयराम रमेश ने कहा कि बाघों की सूचना इकट्ठा करने के लिए रेडियो कॉलर का इस्तेमाल होता रहेगा. रमेश ने कहा, ''रेडियो कॉलर तकनीक का इस्तेमाल दुनिया भर में हो रहा है लेकिन दुर्भाग्य से भारत में इस पर सवाल उठाए जा रहे हैं.''

अलवर में जयराम रमेश ने कहा कि कई टाइगर रिज़र्वों में स्पेशल फोर्स की संख्या बढ़ाई जाएगी. हालांकि उन्होंने यह साफ नहीं किया कि सरकार ये काम कब तक पूरा कर लेगी. इससे पहले मई में पूरे हुए एक सर्वे से पता चल चुका है सरिस्का के बाद कि मध्य प्रदेश के पन्ना टाइगर रिज़र्व से भी बाघ ख़त्म हो चुके हैं. भारत के वन्यजीव संस्थान के सर्वे के मुताबिक इसकी बड़ी वजह अवैध शिकार भी है. राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण, एनटीएए की रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि इस साल के छह महीनों में ही अब तक 45 बाघ मारे गए हैं. सरकारी आंकड़ों के मुताबिक भारत में सिर्फ 1,411 बाघ ही बचे हैं.

रिपोर्ट: पीटीआई/ओ सिंह

संपादन: महेश झा

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