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'बाबा रामदेव पर जानकारी के लिए धन्यवाद'

८ जून २०११

"बाबा रामदेव के सत्याग्रह आन्दोलन को लेकर दिल्ली के राम लीला मैदान से सत्ता के गलियारे तक पिछले दिनों जो कुछ घटनाएं घटी, उन सबके बारे में नवीनतम और पल पल की जानकारी देने के लिये डॉयचे वेले को बहुत बहुत धन्यवाद. "

तस्वीर: AP

पिछली रात दिल्ली के राम लीला मैदान में काले धन और भ्रष्टाचार के विरोध में आमरण अनशन पर बैठे बाबा रामदेव और निर्दोष महिलाओं एवं बच्चों पर पुलिस की बर्बरता,विश्व के सबसे बड़े लोकतांत्रिक देश के माथे पर कलंक है. बाबा रामदेव चाहे योग गुरु हो या राजनैतिक व्यक्ति, उनका आन्दोलन, जनता का आन्दोलन है. उनकी लड़ाई सच की लड़ाई है. बाबा रामदेव को न सिर्फ गिरफ्तार किया गया बल्कि महिलाओं और बच्चों को पीटा गया. सरकार की कार्यवाही अंग्रेजी शासन की याद दिलाती है. दिल्ली में बैठे मंत्रियों,सांसदों एवं अधिकारियों के इस तरह के अमानुषिक व्यवहार एवं खामोशी से पता चलता है कि हमारे देश में भ्रष्टाचार की जड़ें कितनी गहराई तक जम चुकी है. खैर,भ्रष्टाचार विरोधी आन्दोलन के बीज पड़ चुके हैं.

चुन्नीलाल कैवर्त, ग्रीन पीस डी एक्स क्लब, जिला बिलासपुर, छत्तीसगढ़

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रो पड़े बाबा रामदेव - व्यापक जन कल्याण के लिए भारत देश की सत्ता पर बैठी पार्टियों के स्वार्थ, काले धन के रक्षक और चरित्रहीन नेताओ को नीचे उतार कर, देश की आम जनता के हित में कानून लाना है, भ्रष्ट राजनेताओ, नकार्शहो को दंड देना है. सांसद अपने हित में कानून बदलते हैं, देश की आम जनता के व्यापक हित में कानून में सकारात्मक बदलाव नितांत आवश्यक है. आखिर कैसे आम जनता की सेवा करनेवाले लोग जनता से गद्दारी करते है, और बड़ी बड़ी संपत्तियों के मलिक बांटे है? भ्रष्टाचारियो, अहंकारियो, देश को धोखा देनेवालो को यह जान लेना चाहिए की उनके पाप का घड़ा भर गया है. और जनता जनार्दन कहकर देश की जनता को लूटने वाले लोगो को अब उनके कुकर्मो की सजा मिलेगी.

चारू चन्द्र, ईमेल से

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बाबा ने आखिरकार अपना अनशन शुरू किया. सभी न्यूज चैनलों में बाबा छाए हुए हैं. कोई बाबा के खिलाफ बोल रहा हैं तो कोई बाबा के पक्ष में. चाहे कुछ भी हो बाबा ने जन जागृति का अभियान तो छेड़ ही दिया है. बाबा का ये अनशन व्यवस्था परिवर्तन के लिए है, ना की सरकार परिवर्तन के लिए. आपको बता दूं कि काले धन का मुद्दा उठाने वाले बाबा ही है और बाबा के अभियान के वजह से ही आज काले धन पर लोगों में जागरूकता आयी हैं. कम से कम एक व्यवस्था में सुधार का माहौल तो बना हैं. बाबा रामदेव के बहाने ही सही इतिहास की क्रूर की कहानी दौबारा ताजा हो गई जिन्होनें नहीं देखा था उन्होने इसको रामलीला मैदान में देखा. फर्क बस इतना है उस समय हम अंग्रेजों के खिलाफ थे अब अपने सफेदपोश नेता और महाभ्रष्ट नौकरशाही के खिलाफ है.

दिलीप झा

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खोज में दुर्लभ धातुओं को खदान से निकालते समय आनेवाली मुश्किलों पर विस्तृत रिपोर्ट काफी जानकारी वाली लगी. धातुओं के हर रोज के इस्तेमाल में हमें पता भी नहीं होता कि इनको निकालने में कितनी मेहनत रही होगी.

अंतरा में जर्मन फुटबाल में महिला रेफरी का काम करनेवाली विवयाना के बारे में जानकारी काफी उत्साहित करनेवाली थी. ऐसे बहुत से क्षेत्र हमें मालूम भी नहीं हैं जहां महिलायें पुरुषों के काम कर रही हैं जो सुनकर काफी अच्छा लगता है.

संदीप और सविता जावले, मार्कोनीडीएक्सक्लब, परलीवैजनाथ, महाराष्ट्र

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मैं आपसे एक अनुरोध करना चाहता हूं कि आप लोग अगर हिंदी भाषी लोगों को ध्यान में रख करके डॉयचे वेले समाचार सुनाते हैं तो कृपया आप लोग रेडियो प्रसारण दुबारा से शुरू करें तो बेहतर होगा, क्योंकि अभी भारत की 70% से अधिक की आबादी गांव में रहती है जहां पर बिजली और इंटरनेट की उतनी सुविधा उपलब्ध नहीं है. जब रेडियो गांव में बहुत अधिक सुना है इसलिए अगर आप अपना रेडियो प्रसारण शुरू करे तो बहुत अच्छा ´होगा.

सतीश चंद मद्धेशिया, गोरखपुर, उत्तर प्रदेश

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यूथ ब्रिगेड को मौका वर्ल्ड कप में जीत के बाद भारतीय टीम ने वेस्ट इंडीज की धरती पर ट्वेंटी-ट्वेंटी मैच जीतकर शानदार शुरुआत तो कर ही दी है, पर स्टार खिलाड़ियों की कमी से यूथ ब्रिगेड को भी एक शानदार मौका मिला है. टीम के युवा खिलाड़ी यदि इंडीज के तेज पिचों पर खरे उतरते हैं तो उनका टीम में पक्का स्थान समझो. युवा खिलाड़ियों को यह मौका जरूर भुनाना चाहिए. कप्तान रैना को ऐसा सुनहरा अवसर फिर कभी नहीं मिलने वाला.

माधव शर्मा नोखा जोधा, नागौर, राजस्थान

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संकलनः विनोद चड्ढा

संपादनः आभा एम

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