कार्यस्थलों में एलजीबीटी+ समुदाय के लोगों के साथ भेदभाव का अंत करने के लिए भारत में एक बराबरी सूचकांक की शुरुआत हुई है. सूचकांक के पहले साल में इस बराबरी की तरफ कदम बढ़ाने वाली 52 कंपनियों को पुरस्कार दिए गए हैं.
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गुरूवार 10 दिसंबर को शुरू किए गए इस सूचकांक में दो भारतीय कंपनियों गोदरेज समूह और हिंदुस्तान यूनिलीवर को एलजीबीटी+ लोगों के लिए सबसे अच्छे एम्प्लॉयर के खिताब से नवाजा गया. सूचकांक की शुरुआत सुप्रीम कोर्ट द्वारा समलैंगिक सेक्स को कानूनी वैधता देने के दो साल बाद हुई है. 19 और कंपनियों ने स्वर्ण पुरस्कार जीते, लेकिन वे सब माइक्रोसॉफ्ट और एक्सेंचर जैसी विदेशी कंपनियां हैं.
इन्हें पुरस्कार जेंडर न्यूट्रल बाथरूम और समलैंगिक पार्टनरों के लिए स्वास्थ्य बीमा जैसी एलजीबीटी+ समावेशी नीतियां लागू करने के लिए दिए गए हैं. जीतने वाली कंपनियों में भी हिंदुस्तान यूनिलीवर ब्रिटिश कंपनी की भारतीय सब्सिडियरी कंपनी है. सूचकांक के शुरू होने के मौके पर गोदरेज इंडिया कल्चर लैब के मुखिया परमेश शहानी ने कहा, "भारत में हम सब समावेश की इस यात्रा के शुरूआती चरणों में हैं."
उनकी लैब गोदरेज समूह का एक हिस्सा है और विविधतापूर्ण सोच को प्रोत्साहन देने वाले कार्यक्रम आयोजित करती है. शहानी ने थॉमसन रॉयटर्स फाउंडेशन को बताया, "मुझे खुशी है कि इस यात्रा में साथ आगे बढ़ने के लिए इतनी कंपनियां सामने आ रही हैं, एक दूसरे से सीख रही हैं और सबसे अच्छे कदम एक दूसरे के साथ साझा भी कर रही हैं ताकि हम सब एक दूसरे को और भी कदम उठाने के लिए प्रोत्साहित कर सकें."
पुरस्कार जीतने वाली 52 कंपनियों के इस सूचकांक में 67 प्रतिशत कंपनियां अंतरराष्ट्रीय हैं, 17 प्रतिशत भारतीय हैं और बाकियों ने अनाम रहना चुना. टाटा स्टील समेत चार कंपनियों को रजत पुरस्कार दिया गया. पितृत्व अवकाश को 'नवजात अभिभावक अवकाश' नाम दे कर उसे समलैंगिक, ट्रांस और अकेले पुरुष अभिभावकों के लिए लागू करने के लिए टाटा स्टील की सराहना की गई.
सूचकांक को ब्रिटिश एलजीबीटी+ एडवोकेसी समूह स्टोनवॉल, भारत के केशव सूरी फाउंडेशन और एलजीबीटी+ समावेशी कंसल्टेंसी कंपनी प्राइड सर्किल ने मिल कर शुरू किया है. इसकी शुरुआत सुप्रीम कोर्ट द्वारा समलैंगिक सेक्स पर बन वाले कानून को 2018 में निरस्त करने के बाद की गई.
रिसर्च से पता चला है कि एलजीबीटी प्लस लोगों के लिए बराबरी को प्रोत्साहित करने वाली कंपनियों में कर्मचारियों की भर्ती, उन्हें कंपनी के साथ बनाए रखना, उपभोगताओं के बीच कंपनी की छवि, उत्पादकता और लाभदायिकता सब बेहतर होती हैं. उद्योग जगत के संगठन फिक्की के महासचिव दिलीप चेनॉय ने और भी भारतीय कंपनियों को कहा कि वे भी अगले साल सूचकांक में हिस्सा लें क्योंकि इससे "विविधता और समावेश की तरफ बढ़ने में सहायता होगी."
युगांडा समलैंगिंकों को मौत की सजा देने का कानून बनाने जा रहा है. ब्रूनेई पहले ही ऐसा कर चुका है. दुनिया के 68 देशों में समलैंगिक संबंध अवैध हैं. लेकिन अब कई देश एलजीबीटी समुदाय को अधिकार देने के बाद उन्हें छीन रहे हैं.
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अमेरिका
अमेरिका ने इस साल से सेना में ट्रांसजेंडरों की भर्ती पर रोक को लागू करना शुरू कर दिया है. 2016 में राष्ट्रपति बराक ओबामा ने ट्रांसजेंडरों को सेना में काम करने की अनुमति दी थी. लेकिन 2017 में राष्ट्रपति पद संभालने वाले डॉनल्ड ट्रंप ने इसे बदलने की घोषणा की. ट्रंप ने इस फैसले की एक बड़ी वजह दवाओं पर आने वाले खर्च को बताया.
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रूस
रूस में पिछले साल पहली बार तथाकथित "गे प्रोपेगैंडा" कानून के तहत एक नाबालिग पर जुर्माना किया गया. इस कानून का इस्तेमाल वहां एलजीबीटी समुदाय को दबाने के लिए किया जाता है. 2013 में बने इस कानून के तहत नाबालिगों में समलैंगिकता को बढ़ावा देने की कोशिश या फिर ऐसा कोई भी आयोजन गैरकानूनी है. इसे तहत वहां गे परेड रोकी गईं और समलैंगिक अधिकार कार्यकर्ताओं को हिरासत में लिया गया.
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पोलैंड
पोलैंड की सत्ताधारी पार्टी के नेता यारोस्लाव काचिंस्की ने इस साल गे प्राइड मार्चों की आलोचना की और कहा कि इसे रोकने के लिए कानून लाया जाना चाहिए. कट्टरंपंथी लॉ एंड जस्टिस पार्टी ने एलजीबीटी समुदाय विरोधी अपने रुख को चुनाव का बड़ा मुद्दा बनाया है. आलोचकों का कहना है कि इस वजह से समलैंगिकों के खिलाफ हिंसा के मामलों में इजाफा देखने को मिला है.
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इंडोनेशिया
इंडोनेशिया में समलैंगिक पुरुषों के बीच शारीरिक संबंधों पर प्रतिबंध लगाने वाले एक कानून का मसौदा तैयार किया गया है, जिस पर पिछले महीने संसद में विरोध के चलते मतदान नहीं हो पाया. इसके तहत विवाहेत्तर शारीरिक संबंध भी गैरकानूनी होंगे. गर्भपात कराने पर भी चार साल की सजा होगी. सिर्फ मेडिकल इमरजेंसी, बलात्कार या काले जादू के लिए जेल की सजा मिलने पर ही गर्भपात कराने की छूट होगी.
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नाइजीरिया
नाइजीरिया ने 2014 में एक बिल पास किया, जिसमें समलैंगिक सेक्स के लिए 14 साल की सजा का प्रावधान किया गया. अधिकारियों ने 2017 में समलैंगिक गतिविधियों के मामले में 43 लोगों के खिलाफ आरोप तय किए. इनमें से ज्यादातर को निगरानी में रखा गया और उनका "यौन पुर्नवास" किया गया.
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मलेशिया
मलेशिया में एलजीबीटी समुदाय के लोगों को प्रताड़ित करने के मामले बढ़ रहे हैं. पिछले साल तेरेंगगानु राज्य में दो महिलाओं को आपस में शारीरिक संबंध कायम करने के लिए सार्वजनिक तौर पर बेंतों से पीटा गया. प्रधानमंत्री महाथिर मोहम्मद का कहना है कि उनका देश समलैंगिक शादियों और एलजीबीटी समुदाय के अधिकारों को स्वीकार नहीं कर सकता.
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चाड
अफ्रीकी देश चाड ने 2017 में नई दंड संहिता पर अमल करना शुरू किया, जिसमें समलैंगिक संबंधों के लिए छोटी कैद की सजाओं और जुर्माने का प्रावधान किया गया. इससे पहले वहां स्पष्ट तौर पर समलैंगिक संबंध गैरकानूनी नहीं थे. हालांकि अप्राकृतिक कृत्यों की निंदा करने वाला एक कानून जरूर था.
तस्वीर: UNICEF/NYHQ2012-0881/Sokol
स्लोवाकिया
स्लोवाकिया ने 2014 में अपने संविधान में पारंपरिक शादी की परिभाषा को जगह दी. 2015 में वहां पर एक जनमत संग्रह हुआ जिससे समलैंगिक शादियों और उनके द्वारा बच्चे गोद लेने पर रोक को और मजबूती मिलने की उम्मीद थी. लेकिन जनमत संग्रह में बहुत कम लोगों ने हिस्सा लिया जिसके कारण उसे मंजूरी नहीं मिल सकी. (थॉमसन रॉयटर्स फाउंडेशन/एके)