रूस ने फेसबुक को बैन करने की चेतावनी दी है. मॉस्को का कहना है कि फेसबुक को रूसी नागरिकों के लिए रूस में ही सर्वर लगाना होगा, वरना उसका काम बंद कर दिया जायेगा.
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रूस में कम्युनिकेशन पर नजर रखने वाली संस्था रोजकॉमनाडजोर ने यह चेतावनी दी है. इसी संस्था ने नवंबर 2016 में अमेरिकी प्रोफेशनल नेटवर्किंग साइट लिंक्डइन को भी ब्लॉक किया था. रूसी समाचार एजेंसी इंटरफैक्स के मुताबिक सितंबर 2015 से लागू कानून का उल्लंघन करने वाली इंटरनेट कंपनियों पर अब कड़ी कार्रवाई होगी.
मॉस्को के डाटा सिक्योरिटी कानून के मुताबिक रूस में काम करने वाली इंटरनेट कंपनियों को रूसी नागरिकों की जानकारी रूस के ही सर्वरों पर रखनी होगी. इंटरफैक्स से बातचीत में रोजकॉमनाडजोर के प्रमुख अलेक्जेंडर झारोव ने कहा, "कानून का पालन हर किसी को करना होगा. 2018 में सब कुछ नियम के मुताबिक होना चाहिए."
फेसबुक के 11 राज
क्या बता सकते हैं फेसबुक का रंग नीला क्यों है? या उस अकाउंट के बारे में जिसे कभी ब्लॉक नहीं कर सकते. अगर कोई मर जाए तो उस अकाउंट का क्या होगा? जानिए फेसबुक के बारे में ऐसी 11 बातें जो आमतौर पर किसी को नहीं मालूम होतीं.
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फेसबुक का नीला रंग
दुनिया में इतने रंग है लेकिन फेसबुक का रंग नीला ही क्यों? दरअसल फेसबुक का रंग नीला है क्योंकि फेसबुक चीफ मार्क जुकरबर्ग सबसे ठीक तरह से नीला रंग ही देख सकते हैं. मार्क जुकरबर्ग को रेड-ग्रीन कलर ब्लाइंडनेस है. एक रशियन टेलिविजन टॉक शो में बात करते हुए उन्होंने कहा था कि उन्हें कलर ब्लाइंडनेस है और नीला ही वह रंग है जिसे वे सबसे बेहतर ढंग से देख सकता हूं. इसीलिए उन्होंने फेसबुक का रंग नीला रखा है.
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जिसे ब्लॉक नहीं किया जा सकता
फेसबुक पर एक ऐसा शख्स भी है जिसे कभी भी ब्लॉक नहीं किया जा सकता है. जी हां, ऐसा बिल्कुल संभव है. कोई हैरत की बात नहीं है कि वह प्रोफाइल खुद मार्क जुकरबर्ग की है. फेसबुक पर कोई भी व्यक्ति उन्हें ब्लॉक नहीं कर सकता. कोशिश करके देखिए.
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जुकरबर्ग को खोजना इतना आसान
अगर आप फेसबुक पर लॉग इन करके अपने होम पेज पर हैं तो उस वक्त आपका यूआरएल होता है https://www.facebook.com और दिलचस्प बात यह है कि अगर आप अपने इसी url के आगे बस /4 जोड़ देंगे तो आप सीधे मार्क जुकरबर्ग की वॉल पर पहुंच जाएंगे.
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दो देशों में फेसबुक बैन भी है
फेसबुक पर अरबों यूजर्स हैं जिनमें दुनिया के लगभग हर देश के लोग हैं. लेकिन सबसे दिलचस्प बात है कि फेसबुक चीन और उत्तर कोरिया दो देशों में बैन है.
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कोई मर जाए तो अकाउंट का क्या होता है?
यदि हमारी जान पहचान में कोई किसी व्यक्ति की मृत्यु हो जाती है तो हम फेसबुक पर इस बात की रिपोर्ट कर सकते हैं. फेसबुक ऐसी प्रोफाइल्स को एक तरह का स्मारक (memorialized account) बना देता है. इस अकाउंट में कोई भी व्यक्ति लॉग इन नहीं कर सकता है. इस तरह के अकाउंट में कोई भी बदलाव नहीं किया जा सकता.
हर सेकंड 5 नए लोग फेसबुक पर
फेसबुक के जारी किए गए आंकड़ों के मुताबिक हर सेकंड 5 नए लोग फेसबुक पर अपना अकाउंट बनाते हैं. फेसबुक पर हर रोज लगभग 30 करोड़ तस्वीरें अपलोड की जाती हैं. हर 60 सेकंड में 50 हजार कमेंट्स और लगभग 3 लाख स्टेटस लिखे जाते हैं. वहीं दूसरी ओर फेसबुक पर लगभग 9 करोड़ फेक प्रोफाइल्स हैं.
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लाइक की जगह था ये नाम
फेसबुक पर हर जगह लाइक का ऑप्शन दिखता है. वैसे फेसबुक पर इस ऑप्शन के बारे में काफी विवाद रहा. सबसे पहले इसका नाम 'AWESOME' रखा गया था. लेकिन इसे बाद में LIKE किया गया था.
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ये पोक क्या बला है?
फेसबुक पर एक फीचर है पोक. किसी की प्रोफाइल पर जाकर आप उसे पोक कर सकते हैं. लेकिन इसका मतलब क्या है? दरअसल कोई मतलब नहीं है. ये बस जैसे खेल के लिए है. यहां तक कि फेसबुक हेल्प सेंटर में भी आप पूछेंगे कि 'poke' का क्या मतलब है तो आपको कभी पता नहीं चलेगा. इस बारे में मार्क जुकरबर्ग कह चुके हैं कि उन्होंने सोचा था कि वे फेसबुक पर एक ऐसा फीचर बनाएंगे जो बेमतलब होगा. ये बस मस्ती के लिए बनाया गया है.
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फेसबुक एक बीमारी
फेसबुक का एडिक्शन इन दिनों एक बीमारी का रूप लेता जा रहा है. दुनियाभर में हर उम्र के लोग फेसबुक एडिक्शन डिसऑर्डर यानी फेसबुक की लत से जूझ रहे हैं. इस बीमारी का संक्षिप्त नाम FAD है. इस वक्त दुनिया में लगभग कई करोड़ लोग FAD से ग्रसित हैं.
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खरीदा इंस्टाग्राम और वॉट्सऐप को
9 फेसबुक 2004 मार्च में शुरू हुआ और एक साल के भीतर ही इसने दस लाख यूजर्स जुटा लिए थे. जून 2009 तक यह इतना बढ़ चुका था कि यह अमेरिका की नंबर वन सोशल नेटवर्किंग साइट बन गयी. अप्रैल 2012 में फेसबुक ने इंस्टाग्राम और 2014 में वॉट्सऐप को भी खरीद लिया था.
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कब क्या लॉन्च हुआ
फेसबुक ने सितंबर 2004 में "वॉल", सितंबर 2006 में "न्यूज फीड", फरवरी 2009 में "लाइक" बटन और सितंबर 2011 में टाइमलाइन फीचर लॉन्च किया.
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ऐसा न करने वाली कंपनियों को चेतावनी देते हुए कहा गया है, "या तो हमें कानून बदलना होगा या फिर दुर्भाग्य से कंपनी को लिंक्डइन की तरह रूस की सीमा में अपना काम बंद करना होगा. इसमें कोई अपवाद नहीं है. हम साफ तौर पर समझते हैं कि रूसी संघ की सीमा में फेसबुक के पास यूजर्स की संख्या काफी ज्यादा है. लेकिन दूसरे नजरिये से देखें तो हम समझते हैं कि यह कोई अनोखी सर्विस नहीं है और कई और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म मौजूद हैं."
अमेरिकी सोशल नेटवर्किंग साइट ट्विटर ने अब रूस में ही पर्सनल डाटा वाला सर्वर बनाने का फैसला किया है. ट्विटर के मुताबिक 2018 तक सर्वर लगाने का काम पूरा हो जाएगा.
रूसी राष्ट्रपति कार्यालय के प्रवक्ता दिमित्री पेस्कोव ने भी कड़े कदमों की पुष्टि की है. पेस्कोव ने कहा कि हर किसी की तरह अमेरिकी कंपनी को भी कानून का पालन करना होगा.
रूस पर आरोप है कि उसने सोशल मीडिया पर फेक न्यूज का सहारा लेकर अमेरिकी राष्ट्रपति चुनावों में दखल दिया. इस मामले की जांच अमेरिका में चल रही है. शुरुआती इनकार के बाद अब फेसबुक भी जांच में सहयोग कर रहा है.
(सबसे बड़ी इंटरनेट कंपनियां)
सबसे बड़ी इंटरनेट कंपनियां
फेसबुक जानिए, वे कौन सी कंपनियां हैं जो इंटरनेट से चलती हैं और भयंकर पैसा कूट रही हैं.
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10. सेल्सफोर्स
सैन फ्रैंसिस्कों की यह कंपनी कंप्यूटर सॉल्यूशंस में दुनियाभर की अगुआ है. इसके संस्थापक सीईओ हैं मार्क बेनिऑफ. बाजार में कंपनी की कीमत है 57 अरब डॉलर.
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9. ऐंट फाइनैंशल
पहले इस चीनी कंपनी का नाम था अलीपे. यह चीन की विशालकाय कंपनी अलीबाबा की सहयोगी है. ऑनलाइन पेमेंट सर्विस उपलब्ध करवाती है और 60 अरब डॉलर की हो चुकी है.
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8. बाइडू
चीन की बाइडू एक सर्च इंजन चलाती है और दुनिया की पांच सबसे बड़ी वेबसाइट्स में से है. इसकी मार्केट कैप 62 अरब डॉलर है.
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7. ऊबर
कार हायरिंग कंपनी ऊबर सैन फ्रांसिस्को से चलती है. लोग टैक्सी चलाते हैं और इसका सॉफ्टवेयर इस्तेमाल करते हैं. इसकी कीमत है 63 अरब डॉलर.
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6. प्राइसलाइन
अमेरिका में कनेक्टिकट के नोर्वाक की यह कंपनी ऑनलाइन ट्रैवल पोर्टल चलाती है. 1997 में शुरू हुई और दो साल में इसका आईपीओ आ गया. आज यह 63 अरब डॉलर की कंपनी है.
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5. अली बाबा
ट्रेडिंग प्लैटफॉर्म के तौर पर काम करने वाली अली बाबा अंग्रेजी के एक टीचर जैक मा ने 1999 में चीन में स्थापित की थी. 2014 में इसके शेयर अमेरिका में बिक रहे थे. आज इसकी कीमत 205 अरब डॉलर है.
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4. टेंसेंट
इसका मुख्यालय तो चीन में है लेकिन काम होता है केमन आइलैंड्स से. इसके कामों में सोशल नेटवर्किंग, वेब पोर्टल, ऑन लाइन गेम्स आदि शामिल हैं. और कीमत है 206 अरब डॉलर.
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3. फेसबुक
अगर आप फेसबुक पर हैं तो 1 अरब 70 करोड़ लोगों के दोस्त बन सकते हैं. 2004 में शुरू हुई इस कंपनी की कीमत आज 340 अरब डॉलर है.
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2. अमेजॉन
ऑनलाइन रिटेलिंग की शुरुआत करने वाली यह कंपनी आज भी इस क्षेत्र में सबसे बड़ी है. 1994 में जेफ बेजोस ने इसे सिएटल से शुरू किया था. इसकी कीमत है 341 अरब डॉलर.
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1. गूगल
इंटरनेट की सबसे बड़ी कंपनी है गूगल. गूगल क्या नहीं करती है, यह तो शायद गूगल सर्च में भी ना मिले. सिलिकॉन वैली से यह कंपनी दुनिया चला रही है. और कीमत है 510 अरब डॉलर.