लिऊ चिया पर निकल रहा है चीन का गुस्सा
१४ अक्टूबर २०१०लिऊ चिया को नोबेल पुरस्कार का एलान होने के बाद से ही उनके घर में कड़ी निगरानी में रखा जा रहा है. उनके पति जेल में बंद हैं. उन्हें अदालत ने विध्वंस के आरोप में 11 साल की सजा दी है. बुधवार को यूरोपीय संघ और अमेरिका समेत कई देशों ने उनकी रिहाई की अपील की.
लिऊ चिया ने अपने ट्विटर अकाउंट पर लिखा, "मुझे अवैध तरीके से घर में कैद रखने के लिए मैं सरकार के खिलाफ कड़ा विरोध दर्ज कराती हूं." उन्होंने लिखा कि उनके हालात बहुत मुश्किल हैं.
इस बीच चीन की नाराजगी नॉर्वे पर उतर रही है. उसने नॉर्वे के साथ होने वाली मंत्री स्तर की कई बैठकों को रद्द कर दिया है. अगले महीने देश में होने वाले नॉर्वे के एक संगीत समारोह को भी रद्द कर दिया है. नॉर्वे ने इन फैसलों की आलोचना की है और कहा है कि वह चीन के साथ सकारात्मक रिश्ते बनाए रखना चाहता है.
नॉर्वे के विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता रानहिल्ड इमर्सलुंड ने कहा, "अगर चीन के ये फैसले नोबेल शांति पुरस्कार की वजह से आए हैं तो हम इस प्रतिक्रिया को अनुचित मानते हैं."
लिऊ चिया ने भी कहा था कि नॉर्वे के दो राजनयिक मंगलवार को उनसे मिलना चाहते थे लेकिन उन्हें उनके अपार्टमेंट के गेट से ही लौटा दिया गया. नॉर्वे के दूतावास ने भी इस खबर की पुष्टि की है. दूतावास की प्रवक्ता टोने हेलेने आरविक ने बताया कि दो अधिकारी लिऊ से मिलने गए थे लेकिन उन्हें दरवाजे से ही वापस भेज दिया गया.
लिऊ चिया ने उम्मीद जताई है कि वह अपने पति की तरफ से नोबेल पुरस्कार लेने नॉर्वे जा पाएंगी. हालांकि उन्होंने ऐसी किसी संभावना से साफ इनकार कर दिया कि अपनी सजा कम कराने के लिए उनके पति खुद को कसूरवार मान कर सरकार से समझौता कर लेंगे. उन्होंने एपल डेली नाम के अखबार से यह बात कही.
लिऊ चिया का फोन काट दिया गया है. अब वह ट्विटर के जरिए दुनिया के संपर्क में हैं. हालांकि चीन में ट्विटर पर प्रतिबंध है लेकिन प्रॉक्सी सर्वर के जरिए इसे खोला जा सकता है.
रिपोर्टः एजेंसियां/वी कुमार
संपादनः महेश झा