"डॉक्टर का तो काम ही है दवा देना", "दवाओं का असर ही कहां होता है, बीमारी अपने वक्त से ही जाती है".. इस तरह की बातें आम हैं. कई कई दिन तक दवा लेने के बाद भी जब बीमारी ठीक नहीं होती तो लोग डॉक्टर और दवा को कोसने लगते हैं. ऐसा करने से पहले ध्यान दें, क्या आप दवा सही समय पर ले रहे हैं?
अधिकतर माना जाता है कि खाली पेट दवा नहीं लेनी चाहिए. एक आम मान्यता है कि एंटीबायोटिक दवाओं की तासीर इतनी गर्म होती है कि उन्हें लेने से पहले खाना जरूरी है. डॉक्टरों की सलाह है कि नीम हकीमी ना करें, बल्कि डॉक्टर की बात को ध्यान से सुनें और जैसा कहा जा रहा है वैसा ही करें.
हर दवा की शरीर में घुलने की क्षमता अलग होती है. इसीलिए किसी दवा को खाना खाने से पहले, किसी को खाना खाने के दौरान तो किसी को खाना खाने के बाद लेने को कहा जाता है. जर्मनी के केमिस्ट संघ ने नए निर्देश जारी कर इस बात पर जोर दिया है.
अगर डॉक्टर से ठीक से बात नहीं कर पाए हैं, तो दवा लेने से पहले पैकेट में मौजूद पर्ची को ठीक से पढ़ लें. अगर खाने से पहले दवा लेने के निर्देश दिए गए हैं, तो दवा लेने के आधे से एक घंटे बाद ही खाना खाएं. अगर खाने के दौरान कहा गया है, तो खाना शुरू करने से ठीक पहले दवा ले सकते हैं. और अगर खाने के बाद के निर्देश हैं तो खाना पचने का इंतजार ना करें, फौरन दवा ले लें.
कुछ दवाएं खाली पेट लेनी होती हैं. इन्हें या तो सुबह उठते ही ले लें, या फिर अगर ऐसा करना भूल जाएं तो ध्यान रखें कि दवा लेने के दो घंटा पहले और बाद में कुछ भी खाया ना जाए. इसकी वजह यह है कि खाना दवा की शरीर में घुलने की प्रक्रिया को तेज या धीमा कर सकता है. इसीलिए सही समय पर ली गयी दवा जल्दी असर दिखाएगी.
रिपोर्ट: ईशा भाटिया (डीपीए)
संपादन: आभा मोंढे
जहर लोगों की जान लेता है, पर कहते हैं कि जहर ही जहर को काटता भी है. यही वजह है कि सांप, बिच्छू और मकड़ी के जहर से दवाएं बनती हैं, जो मधुमेह, दिल की बीमारी और अल्जाइमर में भी फायदा पहुंचाती है.
तस्वीर: San Diego Shooter/nc/ndऑस्ट्रेलिया में पाया जाने वाला ये सांप सबसे जहरीला माना जाता है. इस सांप का जहर दिल के दौरा पड़ने पर इस्तेमाल होने वाली दवाओं में किया जा सकता है
तस्वीर: picture-alliance/dpaबिच्छू का जहर बेहद खतरनाक माना जाता है लेकिन इसका इस्तेमाल दर्द निवारक दवाओं में और दिल की बीमारी में किया जाता है.
तस्वीर: Fotolia/scorpsnakesचिली में पाई जाने वाली इस जहरीली मकड़ी का इस्तेमाल दिल की बीमारी के इलाज में किया जा सकता है. शोधकर्ता मानते हैं कि इसका इस्तेमाल नपुंसकता दूर करने के लिए भी हो सकता है.
तस्वीर: Pedro Avariaमधुमक्खी के डंक से होता है गठिया का इलाज. जहां दर्द होता है वहां मरीज के शरीर में मधुमक्खी से कटवाया जाता है. इलाज का ये तरीका 3 हजार साल पुराना है.
तस्वीर: picture-alliance/dpaवैज्ञानिक मानते हैं कि दक्षिण अफ्रीका में पाए जाने वाला पीले सांप के जहर का इस्तेमाल भूलने की बीमारी को दूर करने के लिए किया जा सकता है.
तस्वीर: San Diego Shooter/nc/ndजोंक के नुकीले मुंह से एक तरह का जहरीला पदार्थ निकलता है जो दर्द निवारक दवाओं में इस्तेमाल किया जाता है.
तस्वीर: picture-allianceगर्दन पर काली गोल पट्टी वाला कोबरा गर्दन उठाकर जहर फेंकता है. वैसे तो इसका जहर काफी खतरनाक होता है लेकिन इसका इस्तेमाल दवा बनाने में किया जाता है.
तस्वीर: picture-alliance/dpaमोतियों से सजी इस छिपकली का जहर मधुमेह के इलाज के लिए बनने वाली दवाओं में किया जाता है. इसके लार में एक ऐनेक्सेडिन-4 नाम का केमिकल होता है जो खून में चीनी की मात्रा का नियंत्रण कर सकती है.
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