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सलमान बट मैच फिक्सिंग के दोषी

१ नवम्बर २०११

पाकिस्तान के पूर्व कप्तान सलमान बट के लिए मंगलवार का दिन खुशी और गम लेकर आया. इंगलैंड के खिलाफ स्पॉट फिक्सिंग वाले मामले में दोषी ठहराए जाने से कुछ ही मिनट पहले उनकी पत्नी ने पहले बेटे को जन्म दिया.

सलमान बटतस्वीर: AP

27 वर्षीय क्रिकेटर के पिता ने समाचार एजेंसी एएफपी को पूर्वी पाकिस्तानी शहर लाहौर से बताया कि बच्चे का जन्म फैसला सुनाए जाने से ठीक आधे घंटे पहले हुआ. जुल्फिकार बट ने बच्चे का नाम बताए बिना एएफपी से कहा, "सलमान बट को फैसला सुनाए जाने के 30 मिनट पहले बेटा हुआ है." उन्होंने कहा, "यह हमारे लिए बहुत अफसोस की बात है कि बट को दोषी पाया गया है. हमें उम्मीद है कि अल्लाह उन्हें इस मुश्किल से बाहर निकालेगा क्योंकि यह उनके और उनके परिवार के लिए बहुत कठिन दिन हैं."

साजिश का दोषी

पाकिस्तानी टेस्ट टीम के पूर्व कप्तान को साउथवार्क क्राउन कोर्ट ने रिश्वत लेने की साजिश और जुए में धोखाधड़ी की साजिश का दोषी पाया. तेज गेंदबाज मोहम्मद आसिफ को धोखाधड़ी की साजिश का दोषी पाया गया. अभियोजन पक्ष का आरोप था कि उन्होंने अगस्त 2010 में इंग्लैंड और पाकिस्तान के बीच हुए टेस्ट मैच में ब्रिटिश एजेंट मजहर मजीद और तेज गेंदबाज मोहम्मद आमिर के साथ जानबूझकर तीन नो बॉल फेंकने की साजिश की. बट और 28 वर्षीय आसिफ ने कहा था कि वे निर्दोष हैं.

सलमान, आसिफ और आमिरतस्वीर: AP

पिछले एक दशक में क्रिकेट में मैच फिक्सिंग से संबंधित यह मामला सबसे गंभीर भ्रष्टाचार कांड है. 11 साल पहले दक्षिण अफ्रीका के कप्तान हैंसी क्रोन्ये पर बुकमैकर्स से पैसा लेने के कारण जीवन भर के लिए खेलने पर प्रतिबंध लगा दिया गया था. भारत के कप्तान अजहरुद्दीन पर भी प्रतिबंध लगाया गया था.

धोखाधड़ी पर एकमत फैसला

सलमान बट और मोहम्मद आसिफ के मामले में जूरी के सभी 12 सदस्यों ने धोखाधड़ी की साजिश पर एकराय से फैसला सुनाया, लेकिन इस आरोप पर कि बट ने इसके लिए पैसा लिया, फैसला 2 के मुकाबले 10 से हुआ. इस फैसले के बाद सलमान बट को सात साल जेल की सजा हो सकती है. सजा इस सप्ताह के अंत तक सुनाई जाएगी. तीनों खिलाड़ियों पर अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट काउंसिल का भ्रष्टाचार विरोधी ट्रिब्यूनल पहले ही लंबे समय का प्रतिबंध लगा चुका है.

बट पर 10 साल का प्रतिबंध लगाया गया है जिसमें से पांच साल निलंबित प्रतिबंध के हैं, जबकि आमिर पर पांच साल और आसिफ पर सात साल का प्रतिबंध लगाया गया है. क्रोन्ये को अपराध मानने के बदले आपराधिक मुकदमे से छूट मिल गई थी, लेकिन पाकिस्तानी खिलाड़ियों पर मुकदमा चलाया गया.

इस मामले का पर्दाफाश रूपर्ट मर्डोक के अखबार न्यूज ऑफ द वर्ल्ड ने किया था, जो फोन हैकिंग के चलते इस साल जुलाई में बंद हो गया. मजीद ने अंडरकवर पत्रकार को बताया था कि पाकिस्तानी खिलाड़ियों ने नो बॉल करने के लिए पैसे लिए हैं. पत्रकार से डेढ़ लाख पाउंड लेते हुए मजीद की चुपचाप तस्वीर खींच ली गई थी.

रिपोर्ट: एएफपी,एपी/महेश झा

संपादन: ए कुमार

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