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डब्ल्यूएचओ: स्थिति बद से बदतर हो सकती है

१४ जुलाई २०२०

डब्ल्यूएचओ ने चेतावनी दी है कि महामारी को लेकर "स्थिति बद से बदतर होती चली जाएगी." संगठन का कहना है कि वायरस जनता का सबसे बड़ा दुश्मन बना हुआ है, लेकिन कई सरकारों और आम लोगों की गतिविधियां में यह नजर नहीं आ रहा है.

Ukraine WHO Tedros Adhanom Ghebreyesus
तस्वीर: picture-alliance/dpa/P. Gonchar

विश्व स्वास्थ्य संगठन के प्रमुख तेद्रोस अधनोम गेब्रयेसुस ने विश्व के कुछ नेताओं की कोरोना वायरस को लेकर विरोधाभासी संदेश देने के लिए आलोचना की है. उन्होंने कहा कि इस तरह के संदेश देने से जनता का भरोसा टूटता है. उन्होंने यह चेतावनी भी दी कि अगर इन नेताओं ने अपने अपने देशों में महामारी के फैलने की तेज गति को कम नहीं किया तो निकट भविष्य में दुनिया के लिए सामान्य स्थिति की तरफ वापस लौटना असंभव हो जाएगा.

महानिदेशक गेब्रयेसुस ने किसी नेता विशेष का नाम नहीं लिया लेकिन कहा कि महामारी को लेकर "कई देश उल्टी दिशा में जा रहे हैं" और कुछ देश संक्रमण को रोकने के लिए सही कदम उठा रहे हैं. हालांकि इसके साथ ही उन्होंने यह भी स्वीकारा कि प्रतिबंधों को लागू करने के आर्थिक, सामाजिक और सांस्कृतिक परिणामों को देखते हुए सरकारों के लिए कुशलता से महामारी से निपटना बहुत मुश्किल है. 

उन्होंने कहा, "वायरस अभी भी जनता का सबसे बड़ा दुश्मन बना हुआ है, लेकिन कई सरकारों और आम लोगों की गतिविधियां में यह नजर नहीं आ रहा है." यह बातें उन्होंने जिनेवा में रिपोर्टरों से कहीं. संगठन ने पिछले 24 घंटों में दुनिया में संक्रमण के 2,30,000 नए मामलों के एक नए रिकॉर्ड की पुष्टि की. इनमें से 80 प्रतिशत नए मामले सिर्फ 10 देशों में पाए गए हैं जिनमें से 50 प्रतिशत से ज्यादा सिर्फ अमेरिका और ब्राजील में हैं.

ब्रसेल्स में यूरोपीय संघ के विदेश मंत्रियों की बैठक के लिए पहुंचे संघ की विदेश नीति के प्रमुख जोसेप बोर्रेल्ल, अन्य अधिकारियों के साथ. सब ने मास्क पहन रखे हैं.तस्वीर: picture-alliance/AP Photo/V. Mayo

संगठन ने कहा कि सरकारों और आम लोगों की प्रतिक्रिया स्थानीय परिस्थितियों पर निर्भर होनी चाहिए, जैसे समुदाय में वायरस व्यापक रूप से फैला है या नहीं. संगठन ने कहा कि उदाहरण के तौर पर स्कूलों को ही ले लीजिए: कई देशों ने कक्षाओं को फिर से खोल दिया है क्योंकि वहां रोज आने वाले मामलों की संख्या कम हो गई है, लेकिन वहीं कुछ देश स्कूलों को लेकर "राजनीतिक फुटबॉल" खेल रहे हैं. संगठन ने विस्तार से कहा कि कुछ देश दुकानों को बंद रखने और सार्वजनिक सभाओं को सीमित रखें जैसे संक्रमण को रोकने वाले कदमों को उठाए बिना स्कूलों को फिर से खोलने की बात कर रहे हैं.

तेद्रोस ने कहा कि सरकारों को और स्पष्ट पब्लिक हेल्थ से संबंधित संदेश देने चाहिए और लोगों को सामाजिक दूरी, मास्क पहनना, हाथ धोना और कोविड-19 के लक्षण दिखाई देने पर घर पर ही रहने का पालन करना चाहिए. उन्होंने चेताया कि अगर महामारी-नियंत्रण के मूल कदमों को नहीं उठाया गया, तो उसका नतीजा सिर्फ एक ही होगा. उन्होंने कहा, "स्थिति बद से बदतर होती चली जाएगी."

सीके/एए (एपी)

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