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समाज

2018 में धीमा हुआ स्मार्टफोन का बाजार

५ फ़रवरी २०१९

2018 स्मार्टफोन के बाजार के लिए अच्छा साल नहीं रहा है. कंपनियों ने माना कि बढ़ते दाम से ग्राहक परेशान हुए. 2019 में कुछ नया पेश करने कि उम्मीद है.

Berlin and Beyond - Handysucht
तस्वीर: DW/Tamsin Walker

स्मार्टफोन का बाजार थोड़ा धीमा जरुर हुआ है मगर खत्म नहीं हुआ है. बढ़ते दामों और दूसरे कई करणों से स्मार्टफोन का बाजार कमजोर पड़ा है. नए सर्वेक्षणों से पता चला है कि 2018 में स्मार्टफोन बाजार ने बिक्री के सबसे खराब आंकड़े देखे और 2019 भी कुछ अच्छा नजर नहीं आ रहा है. तब भी विश्लेषकों का मानना है कि स्मार्टफोन का कोई विकल्प नहीं है क्योंकि दुनिया में हर किसी के लिए स्मार्टफोन अब जरुरी हो गया है. इसलिए स्मार्टफोन के बाजार को फिलहाल कोई खतरा नही हैं. सिलिकॉन वैली के विश्लेषक रॉब एंडेरले का कहना है कि "स्मार्टफोन का कोई विकल्प नहीं मिला है. वियरेबल्स या हेड-माउंटेड डिस्प्ले हैं, लेकिन उनमें से कोई भी खतरे के रूप में नहीं उभरा है."

रिसर्च फर्म आई.डी.सी. ने बताया है कि 2018 में दुनिया भर में हैंडसेट की मात्रा 4.1 प्रतिशत गिर कर 140 करोड़ हो गई है जो इस साल और गिर सकती है.

मार्केट ट्रैकर गार्टनर के विश्लेषक वर्नर गोएर्ट्ज का कहना है कि पिछले साल के अंत में स्मार्टफोन बाजार में कुछ स्थिरता दिखी है. गोएर्ट्ज ने बताया की लोगों को कुछ नए तरीके के स्मार्टफोन का इन्तजार है और उनका मानना है कि "स्मार्टफोन कही नहीं जा रहे हैं. फोल्डेबल फोन एक क्रांति की तरह हो सकते हैं." विश्लेषकों का कहना है कि बाकी के तकनीकी उत्पाद जैसे कंप्यूटर ने भी इसी तरह का उतार चढ़ाव देखा था. एंडेरले ने कहा "बाजार में मंदी जरुर आएगी जब कंपनियों को मार्कटिंग पर पैसा खर्च कर के लोगों को खरीदारी करने के लिए उकसाना होगा." उनका ये भी कहना है कि कुछ लोग जो एप्पल के आईफोन बदलना चाहते हैं वे दाम गिरने का इंतजार कर रहे है.

एप्पल के मुख्य कार्यकारी अधिकारी टिम कुक ने ये बात मानी थी कि लोग अब आईफोन को ज्यादा दिन तक इस्तेमाल करते हैं. एप्पल ने कुछ देशों में दाम कम किए थे क्योंकि डॉलर बहुत मजबूत हो गया था. टिम कुक ने कहा, "हां मुझे लगता हैं कि दाम एक कारण तो जरुर है." बहरहाल आंकड़े ये दिखाते है कि स्मार्टफोन का बाजार थोड़ा थमा है और कुछ रुके हुई बाजारों में मांग बढ़ती हुई नजर नहीं आ रही है.

तस्वीर: picture-alliance/NurPhoto/J. Arriens

एप्पल और दक्षिण कोरिया के सैमसंग दोनों ने चौथी तिमाही में कमजोर आंकड़े दर्ज किए थे और बताया था कि इसकी वजह है उनके सबसे अच्छे उत्पादों की मांग का कम होना.

आईडीसी विश्लेषक रेयान रीथ का कहना है कि "वैश्विक स्तर पर स्मार्टफोन बाजार में अभी गड़बड़ चल रही है. भारत, इंडोनेशिया, (दक्षिण) कोरिया और वियतनाम जैसे कई उच्च विकास वाले बाजारों के सिवा, हमने 2018 में बहुत अधिक सकारात्मक गतिविधि नहीं देखी."

रीथ ने कहा कि लोग अपना फोन बदलने के लिए इंतजार कर रहे हैं और बढ़ते दामों की वजह से भी निराशा बनी हुई है. इस के साथ राजनीतिक और आर्थिक अनिश्चितता भी है. आईडीसी के सर्वे से पता चलता है कि चीन में जहां स्मार्टफोन का 30 प्रतिशत का बाजार है उसमे सबसे ज्यादा 10 प्रतिशत की गिरावट देखी गई है. हालांकि, काउंटरपॉइंट रिसर्च के अनुसार, चीनी स्मार्टफोन निर्माताओं जैसे हुआवेई, ओप्पो और श्याओमी ने इस ट्रेंड को बदलते हुए साल का अंत लाभ से किया. काउंटरपॉइंट के सहयोगी निदेशक तरुण पाठक का कहना है कि इस साल स्मार्टफोन कंपनियां लोगों को सुपरफास्ट 5G नेटवर्क कनेक्टिविटी और फोल्डेबल स्क्रीन से रिझाने की कोशिश करेंगी. फरवरी में सैमसंग फोल्डेबल स्क्रीन वाला फोन ला सकता है.

निधि आर/एनआर (एएफपी)

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