महिला खिलाड़ियों के प्रदर्शन पर पीरियड के असर पर चर्चा
१९ अगस्त २०२२
खेलों में महिलाओं के प्रदर्शन पर पीरियड का क्या असर होता है इस पर शोध की मांगें बढ़ रही हैं. खिलाड़ियों का कहना है कि यह अगर पुरुषों की समस्या होती तो कई तरह के समाधान सामने आ गए होते.
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ब्रिटेन की सबसे तेज महिला धावक मानी जाने वाली दीना अशर-स्मिथ के पास यूरोपीय प्रतियोगिता में 100 मीटर दौड़ की विजेता होने का खिताब था. लेकिन हाल ही में जब वो इस खिताब पर फिर से अपनी दावेदारी साबित करने के लिए दौड़ीं, तो उन्हें दौड़ के बीच में ही रुकना पड़ा.
कारण था उनकी पिंडली में आई ऐंठन. रुकने की वजह से वो दौड़ और अपना खिताब दोनों हार गईं. 26 साल की अशर-स्मिथ ने अब कहा है कि महिलाओं के पीरियड कैसे उनके प्रदर्शन को प्रभावित कर सकते हैं इस विषय पर शोध के लिए और फंडिंग की जरूरत है.
उन्होंने बाद में ब्रिटेन की मीडिया से कहा, "जी हां, लड़कियों की चीजें, समस्याएं. ये एक ऐसा विषय है जिस पर और ज्यादा लोगों को खेल विज्ञान के दृष्टिकोण के शोध करने की जरूरत है, क्योंकि यह बहुत बड़ा है."
खेल खेल में हाइजीन
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उन्होंने आगे कहा, "महिलाएं भी इसके बारे में बात नहीं करती हैं. हमने देखा है कैसे लगातार अच्छा प्रदर्शन देने वाली लड़कियों का प्रदर्शन अचानक से नीचे गिर जाता है. परदे के पीछे वो बहुत संघर्ष कर रही होती हैं और लोग सोच रहे होते हैं, 'ये क्या? ये एकाएक क्या हो गया?' हमें और फंडिंग की जरूरत है."
उन्होंने यह भी कहा, "मुझे लगता है कि अगर यह पुरुषों का मुद्दा होता तो चीजों का मुकाबला करने के लाखों अलग अलग तरीके निकाल लिए जाते. लेकिन सवाल महिलाओं का है और इस विषय में और फंडिंग की जरूरत है."
इसी साल फ्रेंच ओपन में विश्व टेनिस नंबर वन इगा स्वांतेक ने भी यह मुद्दा उठाया था और कहा था कि चिकित्सा और टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में प्रगति से महिला खिलाड़ियों के लिए समाधान निकल सकते हैं.
विश्व में चौथे नंबर की गोल्फ की खिलाड़ी न्यूजीलैंड की लीडिया को ने इसी साल पालोस वेर्डे प्रतियोगिता में पीरियड की वजह से उनकी कमर में हो रहे दर्द की खुल कर चर्चा की थी. उनके खुल कर चर्चा करने की काफी सराहना की गई थी.
सीके/एए (रॉयटर्स)
माहवारी के 10 मिथक
पीरियड्स के दौरान महिलाओं के लिए अनगिनत नियम होते हैं - ये ना करो, वो ना करो. प्रजनन के लिए कुदरत ने औरत के शरीर में जो सिस्टम बनाया है, उसे लेकर न जाने कितनी भ्रांतियां फैली हुई हैं. आइए जानें इनके पीछे का सच.
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मंदिर, हे भगवान!
जब पहली बार लड़कियां पीरियड्स को महसूस करती हैं, तब ज्यादातर माएं सबसे पहली सलाह यही देती हैं. ऐसा तब है जब देश में ऐसे भी कई मंदिर हैं जहां देवी के "उन दिनों" की पूजा की जाती है. महाराष्ट्र में पहले पीरियड्स पर पूजन होता है. अगर पहली बार पवित्र है तो उसके बाद अपवित्र क्यों?
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बाल मत धोना
अक्सर लड़कियों को बताया जाता है कि पहले दो दिन बाल नहीं धोने चाहिए. इस सलाह का कोई आधार नहीं है. इसके विपरीत गर्म पानी से नहाने पीरियड्स के दर्द से राहत मिल सकती है.
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नहाने से भी परहेज
जिस जमाने में ये नियम बने होंगे, तब आज जैसे बाथरूम यकीनन नहीं हुआ करते थे. जिस नहर से पीने का पानी भरना हो, वहीं नहाना पानी को दूषित कर सकता था. लेकिन अब ना तो महिलाओं के नहाने में कोई समस्या है, बल्कि टैम्पॉन लगा कर स्विमिंग भी की जा सकती हैं.
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अचार को मत छूना
ये कुछ वैसा ही है जैसे छोटे बच्चों को डराना हो तो कह दिया जाता है कि बात नहीं मानोगे तो भूत पकड़ के ले जाएगा. पीरियड्स के दौरान हार्मोन ज्यादा सक्रिय होते हैं. मसालेदार खाने से उनके संतुलन में गड़बड़ हो सकती है लेकिन अचार को आपसे कोई खतरा नहीं है.
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पापड़ से दूर रहना
जो लोग आपको ऐसी सलाह दें, उन्हें एक टेस्ट कर के दिखा ही दें. ना ही बच्चे को उठाने कभी कोई भूत आएगा और ना ही आपके छूने से अचार खराब होगा या फिर पापड़ का रंग बदलेगा.
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पौधों को पानी नहीं
चार दिनों के लिए महिलाओं को शैतान समान बना दिया जाता है जिनके छूने से ना जाने क्या क्या बिगड़ जाएगा. जी नहीं, तुलसी या कोई भी पौधा आपके पानी देने से मुरझाने वाला नहीं है.
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रसोई से बाहर
जहां लोग बड़े परिवारों में रहते है, वहां आज भी इसे माना जाता है. लेकिन जहां पति पत्नी ही हैं, वहां कोई इसकी परवाह नहीं करता. तो जब छोटे परिवार का खाना दूषित नहीं होता, तो फिर बड़े परिवार का कैसे हो जाएगा?
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घर से भी बाहर
यह एक अलग ही स्तर है, जहां महिलाओं को अपने बिस्तर, अपने कमरे में भी सोने नहीं दिया जाता. इससे सिर्फ इतना फायदा हो सकता है कि रात में गलती से बिस्तर पर दाग नहीं लगेगा, गद्दा धुलवाना नहीं पड़ेगा लेकिन महिला को जो तकलीफ होगी उसका क्या?
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जादू टोने वाला खून
पीरियड्स का खून ना केवल नापाक होता है, वो इतना खतरनाक होता है कि उससे काला जादू भी किया सकता है - क्या आपको लगता है कि ऐसी बिना सिर पैर की बातें सिर्फ गांव देहात के लोग करते हैं? जी नहीं, अभिनेत्री कंगना राणावत के पढ़े लिखे बॉयफ्रेंड ने भी ऐसी बातें की हैं.
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सेक्स कतई नहीं
पीरियड्स के शुरुआती दिनों में शरीर कमजोरी महसूस करता है, इसलिए आराम करना जरूरी है. ये ना करो, वो ना करो का एक ही तर्क समझ आता है कि आराम कर लो. लेकिन यह सोचना कि उस दौरान सेक्स कर लेंगे तो आपके पार्टनर से उसकी मर्दानगी छिन जाएगी सिर्फ बेवकूफी है.