गैस लीक से टली स्पेसएक्स की पहली निजी स्पेसवॉक
२७ अगस्त २०२४इस ऐतिहासिक मिशन का नाम "पोलारिस डॉन" है. इसे 27 अगस्त को रवाना किए जाने की योजना थी, लेकिन कुछ तकनीकी कारणों की वजह से अब इसमें एक दिन की देरी हो सकती है. कंपनी ने "क्रू ड्रैगन" अंतरिक्ष यान के लॉन्च से बस कुछ ही घंटे पहले बताया कि अमेरिका के केनेडी स्पेस सेंटर में उपकरणों में हीलियम गैस के लीक होने की वजह से मिशन में कम-से-कम एक दिन की देर होगी.
अब कंपनी ने अंतरिक्ष यान को 28 अगस्त की सुबह लॉन्च करने का लक्ष्य बनाया है. स्पेसएक्सने सोशल मीडिया प्लैटफॉर्म एक्स बताया, "हमारी टीमें ग्राउंड-साइड हीलियम लीक को ठीक से समझने की कोशिश कर रही हैं...फैल्कन और ड्रैगन स्वस्थ हैं और क्रू लो-अर्थ ऑर्बिट में अपने कई दिनों के मिशन के लिए तैयार है."
कैसे होगी यह स्पेसवॉक
फैल्कन 9, स्पेसएक्स का ही बनाया हुआ एक बूस्टर रॉकेट है. यह ड्रैगन अंतरिक्षयान को स्पेस में ले जाएगा. पांच दिनों के इस मिशन का मुख्य हिस्सा लॉन्च के दो दिनों बाद आएगा, जब क्रू धरती से 700 किलोमीटर दूर 20 मिनट की एक स्पेसवॉक करेगा. यह इतिहास में पहली निजी स्पेसवॉक होगी.
अभी तक सिर्फ सरकारी अंतरिक्ष यात्रियों ने स्पेसवॉक की है. विशेष रूप से अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन में समय बिताने वाले अंतरिक्ष यात्रियों को अक्सर स्पेससूट पहनकर स्टेशन की जांच और मरम्मत के कामों के लिए बाहर खुले अंतरिक्ष में निकलना पड़ता है.
पहली अमेरिकी स्पेसवॉक 1965 में की गई थी, जो जेमिनी अंतरिक्ष यान पर की गई थी. इसमें जिस प्रक्रिया का पालन किया गया था, 'पोलारिस डॉन' में भी उसी से मिलती-जुलती प्रक्रिया का इस्तेमाल किया जाना है. 1965 वाले मिशन में पहले तो यान के अंदर मौजूद दबाव को निकाला गया था, फिर हैच को खोला गया था और फिर स्पेससूट पहने एक अंतरिक्ष यात्री एक तरह की रस्सी से बंधा बाहर निकला था.
स्पेसएक्स के स्पेससूट
पोलारिस डॉन का क्रू स्पेसवॉक के लिए स्पेसएक्स के नए स्लिमलाइन स्पेससूटों का परीक्षण भी करेगा. चार यात्री इस मिशन का हिस्सा होंगे. इनमें अरबपति यारेड आईजैकमान और स्पेसएक्स के दो वरिष्ठ इंजीनियर सारा गिलिस और ऐना मेनन शामिल हैं. अमेरिकी वायु सेना के लेफ्टिनेंट कर्नल (रिटायर्ड) स्कॉट पोती, मिशन पायलट होंगे. चार में से सिर्फ दो यात्री अंतरिक्ष यान से बाहर निकलेंगे.
इस मिशन के लिए आईजैकमान ने भी काफी वित्तीय मदद दी है. वह इलेक्ट्रॉनिक पेमेंट कंपनी शिफ्ट4 के संस्थापक हैं. आईजैकमान ने मिशन पर कितना खर्च किया, यह जानकारी नहीं दी गई है. हालांकि, अनुमान लगाया जा रहा है उन्होंने 840 करोड़ रुपये से भी ज्यादा रकम खर्च की है.
सीके/एसएम(रॉयटर्स)