छुट्टियों के हलाल पैकेजों की लोकप्रियता बढ़ने के कारण इस्लामिक टूरिज्म के सेक्टर में तेजी आयी है. मुसलमानों के लिए खास ट्रैवल एजेंसियां हैं और उनका अनुमान है कि 2030 तक दुनिया के कुल पर्यटकों में आधे मुसलमान होंगे.
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Halal holidays on the rise
03:10
दुनिया भर में फिलहाल सबसे अधिक बच्चे ईसाई मांओं की कोख से जन्म लेते हैं. लेकिन अगले 20 सालों में सबसे अधिक बच्चों को मुस्लिम मांएं जन्म देंगी. अमेरिकी रिसर्च केंद्र प्यू रिसर्च ने यह आंकड़े पेश किये हैं.
सबसे ज्यादा बढ़ेगी मुस्लिम आबादी
दुनिया भर में फिलहाल सबसे अधिक बच्चे ईसाई मांओं की कोख से जन्म लेते हैं. लेकिन अगले 20 सालों में सबसे अधिक बच्चों को मुस्लिम मांएं जन्म देंगी. अमेरिकी रिसर्च केंद्र प्यू रिसर्च ने यह आंकड़े पेश किये हैं.
तस्वीर: Reuters/John Stillwell
ईसाई मांएं पीछे
प्यू के मुताबिक अगले 20 सालों में मुस्लिम मांओं के बच्चे, ईसाई मांओं के बच्चों से अधिक होंगे. कारण हाल में सालों में ईसाइयों की मौत में बढ़त्तोरी है. और एक दूसरी वजह ईसाइयों का उम्रदराज होना भी है. वहीं मुस्लिम समुदाय में अधिक युवाओं की वजह से बच्चों की जन्म दर में तेजी आयेगी और उनकी आबादी में इजाफा होगा.
प्यू के अनुसार, विश्व स्तर पर मुस्लिम समुदाय की अधिक युवा आबादी के चलते जन्मदर में इजाफा होगा. साल 2030 से 2035 के दौरान सबसे अधिक बच्चे मुस्लिम (22.5 करोड़) समुदाय में पैदा होंगे, वहीं ईसाई धर्म में यह संख्या तकरीबन 22.4 करोड़ रह सकती है. इसके बावजूद दुनिया की कुल ईसाई आबादी तब भी अधिक रहेगी.
तस्वीर: Getty Images/AFP/A. Johnson
मुस्लिम और ईसाई जन्मदर
रिसर्च केंद्र के आंकड़ों मुताबिक साल 2055 से 2060 के दौरान, दोनों समुदायों की जन्म दर में तकरीबन 60 लाख का अंतर आ सकता है. उस वक्त तक मुस्लिम समुदाय में जन्म लेने वालों की संख्या तकरीबन 23.2 करोड़ तक होगी, वहीं ईसाइयों में यह आंकड़ा 22.6 करोड़ तक हो सकता है.
तस्वीर: Reuters/John Stillwell
बड़ा धार्मिक समुदाय
प्यू के ये नये अनुमान इसके पुराने दावों की ही तर्ज पर हैं. साल 2015 में प्यू ने कहा था कि आने वाले दशकों में मुस्लिम समुदाय दुनिया में सबसे अधिक तेजी से बढ़ने वाला धार्मिक समुदाय रहेगा. प्यू के ये अनुमान भी इसी ओर इशारा करते हैं.
तस्वीर: Getty Images/AFP/Y. Nagori
सबसे अधिक बच्चे
साल 2010 से 2015 के बीच, दुनिया भर में जितने भी बच्चों ने जन्म लिया था, उसमें से 31 फीसदी बच्चे मुसलमानों के थे. साल 2015 में दुनिया भर में तकरीबन 24 फीसदी मुसलमान थे. दो साल पहले प्यू ने अनुमान लगाया था कि साल 2050 तक दुनिया भर में मुस्लिमों और ईसाइयों की संख्या लगभग बराबर हो जायेगी.