नरेंद्र मोदी और उनकी पार्टी बीजेपी के लगातार तीसरी बार लोकसभा चुनाव जीतने पर पूरी दुनिया से प्रतिक्रियाएं आई हैं. अमेरिका ने इसे लोकतांत्रिक प्रक्रिया की जीत बताया.
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अमेरिका ने दुनिया के सबसे विशाल चुनाव पूरे हो जाने पर भारत को बधाई दी है. व्हाइट हाउस में राष्ट्रीय सुरक्षा मामलों के प्रवक्ता जॉन कर्बी ने कहा कि भारत के लोगों ने अपनी इच्छाएं जाहिर कर दी हैं.
पश्चिमी देशों से लेकर भारत के पड़ोसियों तक कई नेताओं ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को तीसरी बार भारत का प्रधानमंत्री बनने जाने पर बधाई दी. बधाई देने वालों में नेपाल, मॉरिशस और भूटान से लेकर मालदीव के राष्ट्रपति डॉ. मोहम्मद मुइजू तक शामिल हैं जिनके सत्ता में आने के बाद से भारत और मालदीव के रिश्तों में कुछ तनाव रहा है.
भारत: बड़े नेता जो चुनाव हार गए
4 जून को आए लोकसभा चुनाव के नतीजे कई बड़े नेताओं के लिए बहुत बुरे रहे. देखिए, वे नेता जिन्हें हार का मुंह देखना पड़ा.
तस्वीर: Imago Images/Hindustan Times
स्मृति ईरानी
केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी उत्तर प्रदेश की अमेठी सीट से चुनाव हार गईं. यहीं से राहुल गांधी को हराने वालीं ईरानी को कांग्रेस के किशोरी लाल शर्मा ने हराया.
तस्वीर: @hdmalhotra/X/IANS
अधीर रंजन चौधरी
कांग्रेस के बड़े नेता अधीर रंजन चौधरी पश्चिम बंगाल में पश्चिमी बेहरामपुर सीट से उम्मीदवार थे जो पार्टी का गढ़ माना जाता है. छह बार के सांसद चौधरी को टीएमसी उम्मीदवार और पूर्व क्रिकेटर यूसुफ पठान ने 85 हजार से ज्यादा मतों से हराया.
तस्वीर: Syamantak Ghosh/DW
प्रज्वल रेवन्ना
पूर्व प्रधानमंत्री एचडी देवेगौड़ा के पोते प्रज्वल रेवन्ना परिवार का गढ़ मानी जाने वाली कर्नाटक की हासन सीट से चुनाव हारे. उन्हें कांग्रेस के श्रेयस पटेल ने करीब 40 हजार मतों से मात दी.
तस्वीर: Sonu Mehta/Hindustan Times/IMAGO
कन्हैया कुमार
पूर्व जेएनयू छात्रसंघ अध्यक्ष कन्हैया कुमार दिल्ली की उत्तर-पूर्वी दिल्ली सीट पर कांग्रेस के उम्मीदवार थे. उन्हें बीजेपी के मनोज तिवारी ने एक लाख 38 हजार से ज्यादा मतों से हराया.
कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़े पूर्व सांसद राज बब्बर गुड़गांव सीट से चुनाव हारे. उन्हें बीजेपी के राव इंद्रजीत सिंह ने 75 हजार से ज्यादा वोटों से हराया.
तस्वीर: Qamar Sibtain/IANS
भूपेश बघेल
छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता भूपेश बघेल भी लोकसभा सीट नहीं जीत पाए. उन्हें राजनंदगांव सीट पर बीजेपी के संतोष पांडेय ने 44 हजार से ज्यादा मतों से हराया.
तस्वीर: Hindustan Times/IMAGO
दिग्विजय सिंह
कांग्रेस के दिग्गज नेता दिग्विजय सिंह मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री भी रहे हैं. उन्हें बीजेपी के रोडमल नागर ने राजगढ़ सीट पर एक लाख से ज्यादा वोटों से हरा दिया.
तस्वीर: Sanjeev Verma/Hindustan Times/IMAGO
दिनेश यादव निरहुआ
गायक दिनेश लाल यादव निरहुआ आजमगढ़ से भारतीय जनता पार्टी के उम्मीदवार थे. उन्हें समाजवादी पार्टी के धर्मेंद्र यादव ने लगभग डेढ़ लाख वोटों से हराया.
बीजेपी के तमिलनाडु अध्यक्ष अन्नामलाई कुप्पुसामी को कोयंबटूर सीट पर हार मिली. उन्हें डीएमके के गणपति राजकुमार पी ने एक लाख 18 हजार से ज्यादा वोटों से हराया.
तस्वीर: Mohd Zakir/Hindustan Times Former/imago
उमर अब्दुल्ला
जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री और नेशनल कान्फ्रेंस के नेता उमर अब्दुल्ला को निर्दलीय उम्मीदवार राशिद इंजीनियर ने बारामुल्ला सीट पर एक लाख से ज्यादा वोटों से हराया.
तस्वीर: AB Raoof Ginie/DW
महबूबा मुफ्ती
पीडीपी नेता और पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती को अनंतनाग-राजौरी सीट पर हार मिली. उन्हें नेशनल कान्फ्रेंस के मियां अल्ताफ अहमद ने दो लाख से ज्यादा वोटों से हराया.
तस्वीर: Mukhtar Khan/AP/picture alliance
मेनका गांधी
आठ बार की सांसद मेनका गांधी को समाजवादी पार्टी के रामभाऊ निषाद ने सुल्तानपुर सीट पर 40 हजार से ज्यादा वोटों से मात दी. 2019 में मेनका गांधी पीलीभीत से चुनाव जीती थीं.
तस्वीर: Money Sharma/AFP/Getty Images
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सोशल मीडिया साइट एक्स पर उन्होंने लिखा, "प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और बीजेपी के नेतृत्व वाले एनडीए को लगातार तीसरे कार्यकाल के लिए आम चुनाव जीतने पर बधाई. मैं दोनों देशों की साझा स्थिरता और उन्नति के लिए मिलकर काम करने को लेकर उत्साहित हूं.”
श्रीलंका के राष्ट्रपति रानिल विक्रमसिंघे और नेपाल के प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल ‘प्रचंड' ने भी बधाई संदेश भेजा.
जापान सरकार के प्रवक्ता योशीमासा हायाशी ने भारत जैसे ‘महत्वपूर्ण साझीदार’ का तीसरी बार प्रधानमंत्री बनने जा रहे नरेंद्र मोदी को बधाई दी. उन्होंने कहा, “हम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाले सत्ताधारी गठबंधन की जीत पर उन्हें बधाई देते हैं.”
पश्चिम से बधाई
इटली की प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी ने नरेंद्र मोदी को ट्वीट कर बधाई दी और भारत व इटली के बीच संबंधों को बेहतर बनाने के लिए मिलकर काम करने की इच्छा जताई. उन्होंने लिखा, "चुनावों में जीत पर नरेंद्र मोदी को बधाई. भविष्य के लिए उन्हें मेरी शुभकामनाएं. मुझे पूरा यकीन है कि हम भारत और इटली के बीच दोस्ती को मजबूत बनाने के लिए सहयोग जारी रखेंगे.”
अमेरिका के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर ने भारत और उसके मतदाताओं की विशाल चुनावी प्रक्रिया सफलतापूर्वक पूरी करने के लिए तारीफ की. उन्होंने कहा, "हम भारतीयों के इतनी विशाल चुनावी प्रक्रिया में हिस्सा लेने और उसे पूरी करने के लिए भारत सरकार और उसके मतदाताओं की तारीफ करते हैं.”
मिलर ने कहा, “मुझे उम्मीद है कि भारत और अमेरिका के बीच करीबी सहयोग जारी रहेगा. यह एक महत्वपूर्ण साझीदारी है, सरकार के स्तर पर भी और लोगों के स्तर पर भी. और मुझे पूरी उम्मीद है कि यह जारी रहेगी.”
इसके अलावा लोकसभा चुनाव में जीत पर बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने नरेंद्र मोदी को बधाई पत्र भेजा है. संयुक्त राष्ट्र महासचिव अंटोनियो गुटेरेश ने भी भारत में लोकतांत्रिक प्रक्रिया की सफलता पर बधाई दी है. उन्होंने कहा, "भारत के लोगों को लोकतंत्र के इस विशाल अभ्यास पर बधाई.”
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क्या बोले नरेंद्र मोदी?
तीसरी बार देश के प्रधानमंत्री बनने जा रहे नरेंद्र मोदी ने कहा कि वह ‘विकसित भारत बनाने के लिए' सभी राज्यों के साथ मिलकर काम करना चाहते हैं, चाहे वहां किसी की भी सरकार हो. चुनाव के नतीजे आने के बाद मंगलवार शाम को भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा, "देश में तीसरी बार एनडीए की सरकार बननी तय है. इसके लिए मैं देशवासियों का ऋणी हूं. यह विकसित भारत की जीत है."
उन्होंने कहा कि 1962 के बाद यह पहली बार है कि कोई सरकार अपने दो कार्यकाल पूरे करने के बाद लगातार तीसरी बार सत्ता में लौटी है.
लोकसभा चुनाव के बाद क्या कम होंगी सुंदरबन की चुनौतियां
भारत के लोकसभा चुनावों में अनेक मुद्दें हैं लेकिन एक छोटे से पारिस्थितिक रूप से संवेदनशील द्वीप के निवासियों की एक ही चिंता है. वह है अस्तित्व.
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पर्यावरण मुद्दा क्यों नहीं बनता
लोकसभा चुनावों में धर्म, जाति, मंदिर, मस्जिद, बेरोजगारी, आरक्षण और संविधान के मुद्दे पर तो सभी नेताओं ने बात की लेकिन जलवायु परिवर्तन जैसे संवेदनशील मुद्दे पर शायद ही किसी नेता ने बात की हो.
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घर डूबने से बचाना है
पश्चिम बंगाल के दक्षिण 24-परगना जिले में सुंदरबन अपनी जैविक विविधता के लिए पूरी दुनिया में मशहूर है. लेकिन जलवायु परिवर्तन का असर अब यहां साफ नजर आता है. समुद्र का जलस्तर बढ़ रहा है और लोग अपने घरों को डूबने से बचा रहे हैं.
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बदल रहे हालात
दक्षिण 24-परगना जिले में बांग्लादेश की सीमा से लगा सुंदरबन रॉयल बंगाल टाइगर और दुर्लभ डॉल्फिनों के लिए मशहूर है. यही कारण है कि इसका नाम यूनेस्को की विश्व धरोहरों की सूची में भी शामिल है. लेकिन जंगल को अतीत में अवैध कटाई का सामना करना पड़ा है और वह नियमित रूप से तीव्र मानसूनी तूफानों से प्रभावित हुआ है.
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द्वीप की सुरक्षा है मुद्दा
पश्चिम बंगाल में दक्षिण 24-परगना जिले के घोड़ामारा समेत कई द्वीप जलवायु परिवर्तन और समुद्र का जलस्तर बढ़ने की वजह से खतरे में हैं. घोड़ामारा के 3,700 से अधिक पंजीकृत मतदाताओं में से एक 60 साल के बिमल पात्रा ने कहा, "हमारे लिए, इस चुनाव में द्वीप की सुरक्षा मुख्य मुद्दा है."
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एक डूबता द्वीप
जलवायु परिवर्तन का असर घोड़ामारा द्वीप पर साफ नजर आता है. भूमि कटाव की वजह से पिछले दो दशक में इस द्वीप का आधा हिस्सा खत्म हो चुका है.
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घट रही आबादी
घोड़ामारा में कभी सात हजार लोग रहते थे लेकिन अब यहां रहने वालों की संख्या 4,000 है.
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समंदर में समाती जमीन
पात्रा के पास कभी कई एकड़ जमीन थी, जो अब समुद्र में समा चुकी है. उन्होंने कहा, "हम चाहते हैं कि किनारों को पत्थरों से मजबूत किया जाए या हमें दूसरी जगह पर भेजा जाए." उन्होंने कहा, "पुनर्वास ही एकमात्र समाधान है."
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पास आती नदी
पात्रा बताते हैं कि उनका घर कभी नदी से एक किलोमीटर दूर था लेकिन अब नदी से सिर्फ 150 मीटर की दूरी पर है.
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बढ़ता तापमान और तूफान
शोधकर्ताओं का कहना है कि पिछले एक दशक में जलवायु परिवर्तन के कारण समुद्र की सतह का तापमान बढ़ गया है, बंगाल की खाड़ी से आने वाले चक्रवाती तूफान अधिक भयंकर हो गए हैं और लगातार आते हैं.
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नेता करते हैं वादे
टीएमसी और बीजेपी दोनों के ही उम्मीदवारों ने इस द्वीप का दौरा किया था. बीजेपी के उम्मीदवार ने कहा कि उन्हें लोगों के मुख्य मुद्दे भूमि कटाव के बारे में जानकारी है और उन्होंने स्थायी समाधान ढूंढने का वादा किया है. ममता बनर्जी की सरकार ने हाल ही में वर्ल्ड बैंक के सपोर्ट से एक परियोजना की घोषणा की है, जिसका उद्देश्य सुंदरबन में द्वीपों के तटबंधों को मजबूत करना है.
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विपक्षी दलों के गठबंधन इंडिया को लेकर मोदी ने कहा, "पूरा गठबंधन, सारे विरोधी मिलकर उतनी सीटें नहीं जीत पाए, जितनी बीजेपी ने जीती. NDA के तीसरे कार्यकाल में देश कई बड़े फैसलों का नया अध्याय लिखेगा."
नरेंद्र मोदी ने कहा, "आज की यह विजय, दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र की जीत है. यह भारत के संविधान पर अटूट निष्ठा की जीत है. यह विकसित भारत के प्रण की जीत है. यह सबका साथ-सबका विकास, इस मंत्र की जीत है. ये 140 करोड़ भारतीयों की जीत है."