इंटरपोल ने गुरुवार को बताया कि पिछले साल पूरे यूरोप से 11,000 से अधिक चोरी की गईं प्राचीन वस्तुएं और कलाकृतियां बरामद की गईं.
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इंटरपोल ने गुरुवार को बताया कि पिछले साल पूरे यूरोप से 11,000 से अधिक चोरी की गईं प्राचीन वस्तुएं और कलाकृतियां बरामद की हैं. इंटरपोल ने अपने ऑपरेशन के दौरान विभिन्न यूरोपीय देशों के 60 से अधिक संदिग्धों को भी गिरफ्तार किया है.
इंटरपोल ने कहा कि 2022 के दौरान यूरोपीय देशों में कानून प्रवर्तन अधिकारियों ने एक लंबे और संगठित ऑपरेशन के दौरान 11,000 से अधिक चोरी की गईं प्राचीन वस्तुओं और कलाकृतियों को जब्त किया, जिसमें ऐतिहासिक महत्व की पुस्तकों से लेकर दुर्लभ मूर्तियां और सिक्के शामिल थे.
ऑपरेशन पैंडोरा सेवन
इंटरपोल, जिसका मुख्यालय फ्रांस में है, उसने बताया कि चुराई गई कलाकृतियों का पता लगाने और संदिग्धों को गिरफ्तार करने के लिए ऑपरेशन का नाम 'पैंडोरा सेवन' रखा गया था. अंतरराष्ट्रीय पुलिस सहयोग निकाय ने कहा कि स्पेन की गार्डिया सिविल पुलिस के नेतृत्व में सुरक्षाकर्मियों ने पिछले साल 13 से 24 सितंबर तक कई यूरोपीय देशों में कला अपराधियों पर कार्रवाई की.
स्पेनिश पुलिस के नेतृत्व में कलाकृतियों को चुराने वाले अपराधियों की खोज की गई और इसके बाद कई यूरोपीय देशों से चोरी की कलाकृतियों और कलाओं को बरामद किया गया.
यूरोप के कई देशों में चला अभियान
इंटरपोल के मुताबिक 11,000 से अधिक कलाकृतियों में 77 अत्यधिक ऐतिहासिक पुस्तकें एक प्राचीन मठ से चुराई गईं और इटली में जब्त की गईं. इटली की इन किताबों के अलावा पोलैंड में ऐतिहासिक महत्व के चोरी हुए हजारों सिक्के भी बरामद हुए.
इन कलाकृतियों के अलावा पुर्तगाल में ऐतिहासिक प्रकृति की 48 धार्मिक मूर्तियां भी बरामद की गईं, जिन्हें 1990 और 2000 के दशक में कई चर्चों में हुई चोरी की घटनाओं के बाद चुरा लिया गया था.
इंटरपोल के मुताबिक 15 यूरोपीय देशों की राष्ट्रीय पुलिस एजेंसियों ने 'पैंडोरा सेवन' में भाग लिया. ये देश ऑस्ट्रिया, बोस्निया और हर्जेगोविना, बुल्गारिया, चेक गणराज्य, क्रोएशिया, साइप्रस, ग्रीस, आयरलैंड, इटली, पोलैंड, पुर्तगाल, रोमानिया, स्पेन और स्वीडन थे.
इंटरपोल एक ऐसा संगठन है जो पुलिसिंग के क्षेत्र में अंतरराष्ट्रीय सहयोग सुनिश्चित करता है, जो यूरोप में यूरोपीय संघ की पुलिस एजेंसी यूरोपोल के साथ मिलकर काम करता है.
इंटरपोल द्वारा जारी एक बयान के मुताबिक, "लगभग 130 मामलों में जांच अभी भी जारी है, जिसके बाद विभिन्न देशों में और गिरफ्तारियां और चोरी की गई कलाकृतियों की बरामदगी की उम्मीद है." उसने कहा कि इस तरह विभिन्न देशों की सांस्कृतिक विरासत को लूटने, चोरी करने और नष्ट करने वाले इन अपराधियों को जवाबदेह और दंडित किया जाएगा.
चोरी की गई प्राचीन वस्तुओं और कलाकृतियों को बरामद करने के लिए अंतरराष्ट्रीय पुलिस का यह समन्वित अभियान 2016 से हर साल किया जा रहा है.
एए/वीके (एएफपी, एपी)
कला जगत की सबसे असाधारण चोरियां
कभी भारी हथियारों से लैस, तो कभी पुलिसवालों का भेस धर के, चोरों ने कई बार कला जगत में मूल्यवान चीजों की चोरी की है. इतिहास के पन्नों से हम आपके लिए लाए हैं ऐसी ही 10 असाधारण चोरियां.
तस्वीर: Frank Mächler/dpa/picture alliance
कहानी पूरी फिल्मी है
चोरों ने बवेरिया के मंचिंग में सेल्टिक संग्रहालय से करीब 500 सोने के सिक्के चुरा लिए हैं. 2,000 साल पुराना यह खजाना इस संग्रहालय की विशिष्टता था. यह अभी तक स्पष्ट नहीं हो पाया है कि चोरों ने अलार्म कैसे निष्क्रिय किए. पुलिस का कहना है कि चोरी बिल्कुल फिल्मी तरीके से की गई.
तस्वीर: Frank Mächler/dpa/picture alliance
बेहद पुराने संग्रहालय में चोरी
ड्रेसडेन के शाही महल में स्थित 'ग्रीन वॉल्ट' यूरोप के सबसे मशहूर खजानों में से है. 25 नवंबर 2019 की सुबह इस संग्रहालय में चोर घुस आए और 18वीं शताब्दी की शुरुआत के समय के आभूषणों के तीन सेट चुरा लिए. ये आभूषण हीरों, माणिक और पन्नों से बने हुए हैं और 'बेशकीमती' माने जाते हैं. जर्मनी के अखबार बिल्ड ने इसे "द्वितीय विश्व युद्ध के बाद संभवतः सबसे बड़ी कला चोरी बताया."
तस्वीर: picture-alliance/dpa/S. Kahnert
जब मोना लिसा की मुस्कुराहट हो गई गायब
दुनिया की सबसे मशहूर पोर्ट्रेट, लेयोनार्डो द विन्ची की "मोना लीसा" 1911 में चोरी हो गई थी. विनचेंजो पेरुगिया नाम के एक युवा इतालवी ने पेरिस के लूव्र संग्रहालय से इस पेंटिंग को चुरा लिया था. उसने संग्रहालय के कर्मचारियों जैसे कपड़े पहने थे और पेंटिंग को किसी तरह अपने कोट के नीचे छिपा लिया था. 1913 में पेंटिंग दोबारा सामने आई जब एक कला विक्रेता ने पुलिस को इसके बारे में बताया.
रेम्ब्रां द्वारा बनाई गई याक तृतीय द घेन की पोर्ट्रेट को ब्रिटेन की डलविच पिक्चर गैलरी से एक बार नहीं बल्कि चार बार चुराया जा चुका है. पहली चोरी 1966 में हुई थी, दूसरी 1973 में, फिर 1981 और फिर एक बार और 1986 में. इसी वजह से इसका नाम "टेकअवे रेम्ब्रां" पड़ गया. सौभाग्य से इसे हर बार वापस हासिल कर लिया गया है.
तस्वीर: picture-alliance/akg-images
बॉस्टन की अनसुलझी पहेली
1990 बॉस्टन के इसाबेला स्टूअर्ट गार्डनर संग्रहालय से 13 चित्रों की चोरी अंतरराष्ट्रीय खबर बन गई थी. पुलिसवालों का भेस बना कर दो पुरुष बिल्डिंग में घुसे और चित्रों को ले उड़े. इनमें एडुअर्ड मने की "चेज तोर्तोनि" और यान वरमीर की "कॉन्सर्ट" शामिल थीं. तस्वीरों के खाली फ्रेम आज भी यहां की दीवारों पर टंगे हुए हैं.
तस्वीर: Gemeinfrei
फान गॉग को भी नहीं बख्शा गया
1991 में एक व्यक्ति एम्स्टर्डम के फान गॉग संग्रहालय के बाथरूम में चोरी से खुद को बंद कर लेने में सफल हो गया. फिर संग्रहालय के एक वॉर्डन की मदद से उसने कुल 20 तस्वीरें चुरा लीं, जिनमें वैन गो की मशहूर पेंटिंग "सेल्फ पोर्ट्रेट विथ ईजल" भी शामिल थी. हालांकि पुलिस ने एक घंटे के अंदर अंदर एक गाड़ी के अंदर से सभी तस्वीरों को बरामद कर लिया. चोरों को पकड़ने में कुछ महीने लगे.
तस्वीर: picture-alliance/dpa/K. Van Weel
एक द विन्ची पेंटिंग जो सालों तक गायब रही
2003 में स्कॉटलैंड के एक किले से लियोनार्डो द विन्ची की पेंटिंग "मैडोना ऑफ द यार्नवाइंडर" चोरी हो गई थी. उस समय इसका मूल्य सात करोड़ पाउंड था. दो चोर प्रदर्शनी में दर्शक बनकर घुसे और फिर गार्ड के ऊपर काबू पाकर पेंटिंग को चोरी कर वहां से चलते बने. पेंटिंग सालों तक गायब रही. 2007 में ग्लासगो में एक छापे के दौरान वह फिर से हासिल हुई.
तस्वीर: picture-alliance/dpa
मंच संग्रहालय पर हमला
2004 में ओस्लो स्थित मंच संग्रहालय से एक्सप्रेशनिस्ट चित्रकार एडवर्ड मंच की "द स्क्रीम" और "मैडोना" नाम की दो तस्वीरें चोरी हो गईं. हथियारों से लैस दो चोरों ने संग्रहालय पर हमला कर दिया और कई दर्शकों के सामने तस्वीरों को दीवार से नोच कर ले गए. बाद में पुलिस ने दोनों तस्वीरों को फिर से हासिल तो कर लिया, लेकिन "द स्क्रीम" को तो इतना नुकसान पहुंच चुका था कि उसे दोबारा पहले जैसा नहीं किया जा सका.
तस्वीर: picture-alliance/dpa/Munch Museum Oslo
यूरोप की सबसे बड़ी चोरी
2008 में, हथियारबंद चोरों ने जुरिक के बर्ल संग्रह से 18 करोड़ स्विस फ्रैंक के मूल्य की चार तस्वीरें चोरी कर लीं. इनमें पॉल सेजान की "द बॉय इन द रेड वेस्ट", एडगर देगास की "लुडोविच लेपीच और उसकी बेटियां", फान गॉग की "ब्लॉसमिन्ग चेस्टनट ब्रांचेज" और क्लाउड मोने की "पॉपी फील्ड नियर वीथियुल" शामिल थीं. चारी हुईं तस्वीरें बाद में फिर हासिल कर ली गईं.
तस्वीर: picture-alliance/akg-images
100 किलो के सोने के सिक्के की चोरी
मार्च 2017 में बर्लिन के बोड संग्रहालय से 100 किलो वजन के एक विशाल सोने के सिक्के की चोरी हो गई. "बिग मेपल लीफ" नाम का यह सिक्का कनाडा में मिला था और यह 53 सेंटीमीटर ऊंचा और तीन सेंटीमीटर मोटा है. इसका मटिरियल मूल्य ही चालीस लाख डॉलर है. इस पर आगे की तरफ महारानी एलिजाबेथ द्वितीय की छवि बानी हुई है. माना जाता है कि चोर संग्रहालय में एक खिड़की के रास्ते घुसे थे. (इनिएस आईजेल)