मेलोनी बनने जा रहीं इटली की पहली महिला प्रधानमंत्री
२६ सितम्बर २०२२
धुर दक्षिणपंथी गठबंधन का नेतृत्व करने वाली जॉर्जिया मेलोनी इटली की पहली महिला प्रधानमंत्री बनने की राह पर हैं. वह मुसोलिनी के बाद पद संभालने वाली पहली धुर दक्षिणपंथी नेता होंगी.
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एग्जिट पोल के मुताबिक इटली में रविवार को हुए संसदीय चुनाव में राष्ट्रवादी नेता जॉर्जिया मेलोनी के नेतृत्व वाले धुर दक्षिणपंथी गठबंधन ने बहुमत हासिल कर लिया है. सोमवार की सुबह पत्रकारों से बात करते हुए मेलोनी ने कहा कि इटली की जनता ने उनके गठबंधन को समर्थन देते हुए "स्पष्ट संदेश" दिया है.
मेलोनी ने कहा, "अगर हमें इस देश पर शासन करने के लिए कहा जाता है, तो हम सभी ऐसा इटली की जनता के लिए करेंगे, जिसका उद्देश्य लोगों को एकजुट करना है. हम आपके भरोसे के साथ विश्वासघात नहीं करेंगे."
उनकी यह टिप्पणी मध्य-वामपंथी डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडी) द्वारा हार मानने के तुरंत बाद आई.
मध्य-वामपंथी डेमोक्रेटिक पार्टी की वरिष्ठ सांसद डेबोरा सेराचियानी ने पार्टी की ओर से जारी आधिकारिक टिप्पणी में पत्रकारों से कहा, "यह देश के लिए एक दुखद शाम है." उन्होंने कहा, "दक्षिणपंथियों के पास संसद में बहुमत है, लेकिन देश में नहीं."
एग्जिट पोल में बनती दिख रही सरकार
स्थानीय समय के मुताबिक रविवार की रात 11 बजे मतदान समाप्त हो गया. एग्जिट पोल ने मेलोनी के ब्रदर्स ऑफ इटली पार्टी के नेतृत्व वाले गठबंधन को लगभग 45 फीसदी वोट हासिल करते हुए दिखाया. मेलोनी की अपनी पार्टी खुद का 26 फीसदी वोट हासिल करती दिखी, जो चुनावों में सबसे मजबूत समूह बना.
डेमोक्रेटिक पार्टी के नेतृत्व वाले मध्य-वाम गठबंधन को 29 प्रतिशत वोट मिलने का अनुमान है, जो दूसरा सबसे मजबूत ब्लॉक है. लोकप्रियता में आखिरी मिनट में उछाल की रिपोर्ट के कारण 5 स्टार मूवमेंट ने भी लगभग 16.5 प्रतिशत वोट हासिल किया.
इन चुनावों में करीब साढ़े पांच करोड़ मतादाता मतदान के योग्य थे. इटली के गृह मंत्रालय के अनुसार कुल 64 प्रतिशत मतदाताओं ने अपने मत डाले. यह 2018 के पिछले चुनाव की तुलना में काफी कम है, जिसमें रिकॉर्ड 73 प्रतिशत मतदान हुआ था.
अनुमान बताते हैं कि मेलोनी का दक्षिणपंथी गठबंधन संसद के निचले सदन की 400 सीटों में से 227 और 257 के बीच और सीनेट की 200 सीटों में से 111 और 131 के बीच जीत सकता है. डेमोक्रेटिक पार्टी के नेतृत्व वाले मध्य-वाम गठबंधन को निचले सदन में 88 और सीनेट में 42 सीटें जीतने का अनुमान है.
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दक्षिणपंथी यूरोपीय नेताओं की प्रतिक्रिया?
जैसे ही एग्जिट पोल ने दक्षिणपंथी गठबंधन की जीत की ओर इशारा किया, हंगरी के प्रधानमंत्री विक्टर ओरबान और उनके पोलिश समकक्ष मातेयुस मोराविएत्स्की ने मेलोनी को बधाई दी. ओरबान के राजनीतिक सलाहकार बालाज्स ओरबान ने कहा, "इन कठिन समय में, पहले से कहीं अधिक, हमें ऐसे मित्रों की जरूरत है जो यूरोप की चुनौतियों के लिए एक समान दृष्टि और योजना साझा करें"
जर्मनी की धुर दक्षिणपंथी पार्टी एएफडी और फ्रांस की नेशनल रैली पार्टी के सांसदों ने भी इटली में दक्षिणपंथी जीत की सराहना की. धुर दक्षिणपंथी एएफडी के सांसद बेयाट्रिक्स फॉन स्टॉर्च ने अपने एक ट्वीट में कहा, "हम इटली के साथ जश्न मनाते हैं."
राष्ट्रपति या प्रधानमंत्री बनकर राजनीति में छाने वालीं महिलाएं
लिज ट्रस ब्रिटेन की नई प्रधानमंत्री का पद संभाल चुकी हैं. ट्रस उन एक दर्जन से ज्यादा यूरोपीय महिलाओं के समूह में शामिल हो गईं, जिन्होंने अपने-अपने देशों में राष्ट्रपति या प्रधानमंत्री बनकर राजनीति में इतिहास रचा.
तस्वीर: Yui Mok/Pool photo/AP/picture alliance
ब्रिटेन की तीसरी महिला प्रधानमंत्री बनीं ट्रस
ब्रिटेन में लिज ट्रस ने सत्तारूढ़ कंजर्वेटिव पार्टी के नेतृत्व की दौड़ जीत ली. जुलाई में बोरिस जॉनसन के इस्तीफे के बाद पीएम पद की रेस में ट्रस ने बाजी मारी. 1979 से 1990 तक प्रभार संभालने वाली 'आयरन लेडी' मारग्रेट थैचर और 2016 से 2019 तक शासन करने वाली थेरेसा मे के बाद ट्रस ब्रिटेन की तीसरी महिला प्रधानमंत्री बनी हैं.
तस्वीर: Phil Noble/REUTERS
डेनमार्क की सबसे युवा प्रधानमंत्री
सोशल डेमोक्रेट नेता मेटे फ्रेडरिक्सन जून 2019 में डेनमार्क की सबसे कम उम्र की प्रधानमंत्री बनीं. उन्होंने 41 साल की उम्र में प्रधानमंत्री का पद संभाला. यहां की पहली महिला प्रधानमंत्री, सोशल डेमोक्रेट नेता हेले थॉर्निंग-श्मिट थीं, जिन्होंने 2011 से 2015 तक पद संभाला.
तस्वीर: Philip Davali/Ritzau Scanpix/REUTERS
एस्टोनिया की पहली महिला राष्ट्रपति
52 साल की पूर्व ईयू ऑडिटर केर्स्टी कलजुलैद अक्टूबर 2016 में बाल्टिक राज्य एस्टोनिया की पहली महिला राष्ट्रपति बनीं. हालांकि, एस्टोनिया में राष्ट्रपति पद का औपचारिक महत्व होता है, जिसमें शक्तियां कम होती हैं.
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एस्टोनिया की पहली महिला प्रधानमंत्री
जनवरी 2021 में काजा कलास एस्टोनिया की पहली महिला प्रधानमंत्री बनीं. उनके पिता सिम कलास 2002-2004 तक प्रधानमंत्री थे.
तस्वीर: Ints Kalnins/REUTERS
दुनिया की सबसे कम उम्र की प्रधानमंत्री
दिसंबर 2019 में, सोशल डेमोक्रेट, सना मरीन, 34 साल की उम्र में दुनिया की सबसे कम उम्र की प्रधानमंत्री बनीं. फिनलैंड की तीसरी महिला प्रधानमंत्री मरीन हाल ही में दोस्तों के साथ डांस और पार्टी करते हुए अपनी तस्वीरों को लेकर काफी सुर्खियों में रहीं.
तस्वीर: Frederick Florin/AFP/Getty Images
फ्रांस की दूसरी महिला प्रधानमंत्री
61 साल की इंजीनियर एलिसाबेथ बोर्न मई में फ्रांस की प्रधानमंत्री बनीं, जो समाजवादी नेता एडिथ क्रेसन के बाद पद संभालने वाली दूसरी महिला हैं. क्रेसन 1990 के दशक की शुरुआत में एक साल से भी कम समय तक इस पद पर रहीं थी.
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ग्रीस की पहली महिला राष्ट्रपति
पेशे से तेज तर्रार वकील कैटरीना सकेलारोपोलू जनवरी 2020 में ग्रीस की पहली महिला राष्ट्रपति चुनी गईं. हालांकि ग्रीस में राष्ट्रपति पद की भूमिका मोटे तौर पर औपचारिक है. साकेलारोपोलू 2018 में देश की शीर्ष अदालत की अध्यक्ष बनकर पहले ही न्यायपालिका के मैदान में झंडे गाड़ चुकी थीं.
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हंगरी की पहली महिला राष्ट्रपति
प्रधानमंत्री विक्टर ओरबान की करीबी सहयोगी और पूर्व फैमिली पॉलिसी मंत्री कैटलिन नोवाक को मार्च 2022 में हंगरी की पहली महिला राष्ट्रपति चुना गया.
47 साल की रॉक और आइस हॉकी फैन, लिथुआनिया की पूर्व वित्त मंत्री इंग्रिडा सिमोनीटे दिसंबर 2020 में सेंटर-राइट सरकार की प्रधानमंत्री बनीं. लिथुआनिया में महिला नेतृत्व की एक मजबूत परंपरा है, जिसमें "बाल्टिक आयरन लेडी" डालिया ग्राइबॉस्काइट ने 2009 से 2019 तक सत्ता में एक दशक बिताया.
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स्लोवाकिया की पहली महिला राष्ट्रपति
उदारवादी वकील और भ्रष्टाचार विरोधी 48 साल की जुजाना कैपुतोवा ने जून 2019 में स्लोवाकिया की पहली महिला राष्ट्रपति के रूप में पद संभाला. एक राजनीतिक नौसिखिया होने के बावजूद उन्होंने चुनाव में सत्ताधारी पार्टी के उम्मीदवार को आसानी से हराया था. स्लोवाकिया में राष्ट्रपति के पास प्रधानमंत्री की तुलना में कम शक्ति होती है लेकिन वह वरिष्ठ न्यायाधीशों के कानूनों और नियुक्तियों को वीटो कर सकता है.
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स्वीडन को मिली पहली महिला प्रधानमंत्री
लैंगिक समानता का चैंपियन देश होने के बावजूद स्वीडन में कभी भी माग्दालेना एंडरसन से पहले प्रधानमंत्री के रूप में कोई महिला नहीं रही. सोशल डेमोक्रेट माग्दालेना ने नवंबर 2021 में जीत हासिल की थी. माग्दालेना एक अर्थशास्त्री भी हैं, जिन्होंने सात साल तक वित्त मंत्री के रूप में काम किया.
तस्वीर: Jonas Ekstromer/TT News Agency via REUTERS
बाकी देश जहां सत्ता के शीर्ष पर महिलाएं
फिलहाल और भी महिला नेता जैसे जॉर्जियाई राष्ट्रपति सैलोम ज़ुराबिशविली, आइसलैंड की प्रधानमंत्री कैटरीन जैकब्सडॉटिर, कोसोवो की राष्ट्रपति वोजोसा उस्मानी, मोल्दोवा की राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री मिया संदू और नतालिया गैवरिलिता, सर्बिया की गे एना ब्रनाबिक और स्कॉटलैंड सरकार फर्स्ट मिनिस्टर निकोला स्टर्जन की भूमिका को नजरअंदाज नहीं किया ज सकता. केके/ओएसजे (एएफपी)
तस्वीर: Jane Barlow/PA Wire/empics/picture alliance
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स्वीडन के आम चुनाव में दक्षिणपंथी गठबंधन की हालिया जीत का जिक्र करते हुए उन्होंने लिखा, "उत्तर में स्वीडन, दक्षिण में इटली, वामपंथी सरकारें अब कल की खबरें हैं"
यूरोपीय संसद के एक फ्रांसीसी सदस्य जॉर्डन बार्देला ने कहा कि इटली की जनता ने यूरोपीय आयोग की अध्यक्ष उर्सुला फॉन डेय लाएन को "विनम्रता का सबक" दिया है. पिछले हफ्ते उर्सुला फॉन डेय लाएन ने कहा था कि अगर इटली में नई दक्षिणपंथी सरकार यूरोपीय संघ के नियमों का पालन करने में विफल रहती है, तो ब्रसेल्स के पास उपयोग करने के लिए उपकरण हैं, उनकी टिप्पणी एक तंत्र के संदर्भ में थी जिसके द्वारा यूरोपीय संघ को किसी भी यूरोपीय देश को धन निलंबित करने का अधिकार देता है जो लोकतांत्रिक सिद्धांतों का पालन नहीं करता है.
बार्देला ने कहा, "किसी भी तरह की कोई भी धमकी लोकतंत्र को नहीं रोक सकती." उन्होंने कहा, "यूरोप के लोग सिर उठा रहे हैं और अपने भाग्य को अपने हाथों में ले रहे हैं."
मेलोनी और उनकी पार्टी ब्रदर्स ऑफ इटली ने चुनाव प्रचार के दौरान एजेंडा ऑफ गॉड के साथ मातृभूमि और ईसाई पहचान को मुद्दा बनाया था.
45 वर्षीय राष्ट्रवादी मेलोनी को इस बात के लिए आलोचना झेलनी पड़ी कि उन्होंने खुद को स्पष्ट तौर पर उस नव फासीवादी आंदोलन से अलग नहीं किया है जो तानाशाह बेनितो मुसोलिनी से हमदर्दी रखने वालों ने शुरू किया था.
उन्होंने प्रचार के दौरान फासीवादी होने के आरोपों को खारिज किया और धुर दक्षिणपंथी बयानबाजी में तेजी से कमी लाई थी.
एए/सीके (एएफपी, डीपीए, एपी, रॉयटर्स)
पूरे यूरोप में महिला नेताओं का बोलबाला
एलिजाबेथ बोर्न के फ्रांस की प्रधानमंत्री बनने के साथ ही यूरोप में करीब एक दर्जन महिला नेता शक्तिशाली पदों पर आसीन हो गई हैं. जानिए किन यूरोपीय देशों में महिलाएं हैं प्रधानमंत्री, राष्ट्रपति और अन्य महत्वपूर्ण पदों पर.
तस्वीर: Ole Berg-Rusten/NTB/AP/picture alliance
फ्रांस
61 साल की एलिजाबेथ बोर्न पेशे से एक इंजीनियर हैं और फ्रांस की दूसरी महिला प्रधानमंत्री हैं. एडिथ क्रेसन देश की प्रधानमंत्री बनने वाली पहली महिला थीं, जो 1990 के शुरुआती दशकों में एक साल से भी कम समय के लिए पद पर रही थीं.
तस्वीर: Ludovic Marin/AFP/Getty Images
यूरोपीय आयोग
उर्सुला फोन डेय लायन दिसंबर 2019 में यूरोपीय आयोग की पहली महिला अध्यक्ष बनी थीं. उससे पहले वो जर्मनी की रक्षा मंत्री थीं.
मेटे फ्रेडेरिक्सन जून 2019 में 41 साल की उम्र में डेनमार्क की सबसे युवा प्रधानमंत्री चुनी गईं. देश की प्रधानमंत्री बनने वाली पहली महिला थीं हेले थोर्निंग-श्मिट, जिनका कार्यकाल 2011 से 2015 तक रहा.
52 साल की किर्स्टी कल्युलाइड अक्टूबर 2016 में एस्तोनिया की राष्ट्रपति बनने वाली पहली महिला बनीं. जनवरी 2021 में काजा कल्लास देश की प्रधानमंत्री बनने वाली पहली महिला बनीं.
तस्वीर: BGNES
फिनलैंड
दिसंबर 2019 में सना मरीन 34 साल की उम्र में फिनलैंड की प्रधानमंत्री और साथ ही दुनिया में सबसे युवा प्रधानमंत्री बनीं. वो फिनलैंड की प्रधानमंत्री बनने वाली तीसरी महिला हैं.
तस्वीर: Olivier Matthys/AP Photo/picture alliance
ग्रीस
जनवरी 2020 में पेशे से अधिवक्ता कटरीना सकेलारोपोलू ग्रीस की राष्ट्रपति बनने वाली पहली महिला बनीं. सकेलारोपोलू इससे पहले 2018 में देश के सुप्रीम कोर्ट की अध्यक्ष रह चुकी हैं.
तस्वीर: Petros Giannakouris/AP/picture alliance
हंगरी
कैटलिन नोवाक मार्च 2022 में हंगरी की राष्ट्रपति बनने वाली पहली महिला बनीं. वो इससे पहले परिवार नीति मंत्री रह चुकी हैं.
47 साल की इंग्रिडा सीमोनीते दिसंबर 2020 में लिथुआनिया की प्रधानमंत्री बनीं. वो देश की वित्त मंत्री भी रह चुकी हैं. लिथुआनिया में महिला नेताओं की मजबूत परंपरा है. बॉल्टिक आयरन लेडी के नाम से जानी जाने वाली डालिया ग्राईबाउसकाइट 2009 से 2019 तक देश की राष्ट्रपति रहीं.
तस्वीर: Petras Malukas/AFP/Getty Images
स्लोवाकिया
48 साल की जुजाना कपूतोवा जून 2019 में स्लोवाकिया की राष्ट्रपति बनने वाली पहली महिला बनीं. राजनीति में नई होने के बावजूद उन्होंने चुनावों में बड़ी जीत हासिल की.
तस्वीर: Michal Svitok/TASR/TK KBS
स्वीडन
मैगडालेना एंडरसन नवंबर 2021 में स्वीडन की प्रधानमंत्री बनने वाली पहली महिला बनीं. वो इससे पहले वित्त मंत्री भी रह चुकी हैं. प्रधानमंत्री बनने के बाद जब संसद ने उनकी सरकार के बजट को ठुकरा दिया तब उन्हें इस्तीफा देना पड़ा. चार दिनों बाद वो दोबारा चुनी गईं.
तस्वीर: Michele Tantussi/REUTERS
यूरोपीय संघ के बाहर
यूरोप में यूरोपीय संघ के बाहर जॉर्जिया में सलोम जुराबिशविली राष्ट्रपति हैं, आइसलैंड में कैटरीन जेकब्सडोत्तीर प्रधानमंत्री हैं, कोसोवो में व्योसा ओस्मानी राष्ट्रपति हैं, माल्डोवा में माइआ संदु राष्ट्रपति और नतालया गावृलिता प्रधानमंत्री हैं, नॉर्वे में एरना सोलबर्ग प्रधानमंत्री हैं और स्कॉटलैंड में निकोला स्टर्जन प्रधानमंत्री हैं. (एएफपी)