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समाज

कोविड जांच किट उत्पादन से घटी जांच की कीमत

१५ अक्टूबर २०२१

भारत में कोविड जांच किट के उत्पादन के साथ जांच की कीमत गिरी है. पहले जहां हजारों रुपये लगते थे अब वह दस गुना तक कम हो गया है.

Indien Corona-Pandemie in Uttar Pradesh
तस्वीर: Javed Dar/Xinhua/imago images

जैसे ही भारत में कोरोना महामारी की पहली लहर शुरू हुई सांची जावा और उनके 59 वर्षीय पिता हरीश जावा ने महसूस किया कि उनमें कोविड-19 संक्रमण के लक्षण हैं. उन्होंने बिना देर किए खुद को अलग-थलग कर लिया और जांच कराने का फैसला किया. लेकिन 2020 के वसंत के दौरान यह कोई आसान काम नहीं था.

दिल्ली के कई निजी लैब को बाप-बेटी को कई फोन करने पड़े आरटी-पीसीआर जांच कराने के लिए जो कि उच्च मानक के होते हैं. उस समय में हाई स्टैंडर्ड जांच की कीमत करीब 70 डॉलर या 5 हजार रुपये थी. 29 साल की सांची डिजिटल मार्किंटिंग का काम करती हैं, तो उनके पिता एक सफल कारोबारी हैं. लेकिन अधिकांश भारतीयों के लिए इस तरह की जांच पहुंच से बाहर थी.

सांची कहती हैं, ''यह (आरटी-पीसीआर जांच) आम इंसान के लिए सुलभ होना चाहिए और यह कराने के लिए हर किसी को सक्षम होना चाहिए.''

एक साल बाद अधिकतर भारतीय पीसीआर जांच कम कीमत में करा सकते हैं. ऐसा बड़े पैमाने पर सार्वजनिक-निजी भागीदारी के कारण संभव हो पाया है. InDx नाम की कंपनी ने भारत में ही बुनियादी ढांचे को स्थापित किया है. कंपनी भारत में ऐसी किट का निर्माण कर रही है.

भारत ने फरवरी 2020 में कोविड-19 परीक्षण करने में सक्षम 14 प्रयोगशालाओं को अगले छह महीनों में 1,500 से अधिक कर दिया. देश में अब लगभग 3,000 ऐसी प्रयोगशालाएं हैं.

आरटी-पीसीआर परीक्षणों की कीमत पांच सौ के करीब आ चुकी है. एक समय में देश के कुछ हिस्सों में यह दस गुना अधिक थी.

भारत की कोविड-19 परीक्षण क्षमता में वृद्धि से देश अब तक 58 करोड़ जांच कर पाया है. देश में दैनिक उपयोग की जाने वाली 80 प्रतिशत परीक्षण किट अब पूरी तरह से भारत में निर्मित है.

एए/सीके (एएफपी)

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