इस पृथ्वी को हम इंसान अपना घर कहते हैं. लेकिन हम इसे जितना लूट रहे हैं, ऐसा पहले कभी नहीं हुआ. अर्थ ओवर शूट डे इसी की तरफ इशारा करता है. इसके तहत यह हिसाब लगाया जाता है कि किसी देश को जितने संसाधन आम तौर पर एक साल में खर्च करने चाहिए, वह उन्हें कितना जल्दी खत्म कर लेता है.